भाजपा विधायकों ने लगाई सवालों की झड़ी
मानसून सत्र के तीसरे दिन भी भाजपा विधायकों ने सदन के भीतर मंत्रियो को निशाने पर रखा। एक के बाद एक अनुपूरक सवाल पूछकर उन्होंने मंत्रियों को असहज किया।
राज्य ब्यूरो, देहरादून: मानसून सत्र के तीसरे दिन भी भाजपा विधायकों ने सदन के भीतर मंत्रियो को निशाने पर रखा। एक के बाद एक अनुपूरक सवाल पूछकर उन्होंने मंत्रियों को असहज किया। स्थिति यह बनी कि संसदीय कार्य मंत्री प्रकाश पंत को हस्तक्षेप कर स्थिति संभालनी पड़ी। अधिकांश मामलों में भाजपा विधायक जवाब पर सर हिलाते हुए अपनी असंतुष्टि का भाव दिखाते नजर आए।
गुरुवार को सदन में प्रश्नकाल के दौरान भाजपा विधायकों ने सबसे अधिक सवाल शिक्षा विभाग पर पूछे। यमकेश्वर विधायक ऋतु भूषण खंडूड़ी ने शिक्षा के अधिकार के तहत स्कूलों में एनसीइआरटी की पुस्तकें वितरण करने का मामला उठाया। उन्होंने कहा कि उनके विधानसभा क्षेत्र में एनसीइआरटी की पुस्तकों की कमी है। यहां तक कि बच्चों को पुरानी पद्धति की पुस्तकों से पढ़ाया गया, जो बच्चों के साथ खिलवाड़ है। उन्होंने इस दौरान छपी किताबों व इसमें खर्च राशि की जानकारी मांगी। विभागीय मंत्री ने पुस्तकों की संख्या तो बताई लेकिन इसमें खर्च होने वाली राशि की जानकारी नहीं दी। उन्होंने दावा किया कि हर जगह पुस्तकें उपलब्ध हैं लेकिन सवाल का पूरा जवाब न मिलने से विधायक असंतुष्ट नजर आई। इसी तरह विधायक भरत चौधरी द्वारा अशासकीय सहायता प्राप्त विद्यालयों के मामले में इनकी संबद्धता निरस्त करने के संबंध में पूछे सवाल ने विभागीय मंत्री को असहज किया।
उन्होंने पूछा कि जब कम छात्र संख्या के चलते सरकारी विद्यालय बंद हो रहे हैं तो क्या सहायता प्राप्त विद्यालयों पर भी यह नियम लागू होगा। इस पर विभागीय मंत्री गोलमोल जवाब देकर रह गए। इसी तरह स्कूलों के शौचालयों में सफाई व्यवस्था को लेकर भी भी विधायक भरत सिंह चौधरी के सवालों पर मंत्री बचते नजर आए। भाजपा विधायक सबसे अधिक मुखर निकायों के परिसीमन पर हुए। इस मामले में विधायक सहदेव पुंडीर, मुन्ना सिंह चौहान व उमेश शर्मा काऊ ने लगातार प्रश्न दागे। उन्होंने इस मामले में सरकार से दो टूक जिम्मेदारी के संबंध में भी जानकारी मांगी। ऐसे में संसदीय कार्यमंत्री प्रकाश पंत ने मामला कोर्ट में होने का उल्लेख करते हुए बात को संभाला। विधायक हॉस्टल की व्यवस्था दुरुस्त करने के निर्देश
विधायक मनोज रावत ने विधायक हॉस्टल में अव्यवस्था का मुद्दा उठाया। उन्होंने इस दौरान व्यवस्थाधिकारी पर जनप्रतिनिधियों की बात न सुनने और अभद्रता का भी आरोप लगाया। इस पर जवाब देते हुए संसदीय कार्य मंत्री प्रकाश पंत ने बताया कि विधायक हॉस्टल के रखरखाव को एक करोड़ रुपये जारी किए गए हैं। पीठ ने भी इस मामले में हस्तक्षेप किया। विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद अग्रवाल ने कहा कि सरकार इसका निरीक्षण कर स्थिति को सुधारे।