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जंगल में जाने से ग्रामीणों को सतर्क कर रहा वन विभाग

विकासनगर कालसी वन प्रभाग की तिमली रेंज के कुल्हाल कक्ष संख्या एक और दो में हाथियों ने पौधशाला और तारबाड़ को जबरदस्त नुक्सान पहुंचाया।

By JagranEdited By: Published: Sat, 27 Nov 2021 07:46 PM (IST)Updated: Sat, 27 Nov 2021 07:46 PM (IST)
जंगल में जाने से ग्रामीणों को सतर्क कर रहा वन विभाग
जंगल में जाने से ग्रामीणों को सतर्क कर रहा वन विभाग

जागरण संवाददाता, विकासनगर: कालसी वन प्रभाग की तिमली रेंज के कुल्हाल कक्ष संख्या एक और दो में हाथियों के झुंड की ओर से उजाड़े गए प्लांटेशन और तारबाड़ का शनिवार को एसडीओ बीडी सकलानी ने निरीक्षण किया। एसडीओ ने रेंजर को ग्रामीणों को सतर्क करने, बीटिग अप सीजन में पौधशाला में नए पौधे रोपने और हाथियों मूवमेंट पर हर समय नजर रखने के निर्देश दिए, ताकि हाथी आबादी की ओर रुख न कर सकें।

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शुक्रवार को हाथियों ने पौधशाला में जबरदस्त नुकसान पहुंचाया था और सुरक्षा को लगाई गई तारबाड़ को भी उजाड़ दिया। इसके चलते बौनी प्रजाति के बेर, शहतूत व अन्य पौधे भी नष्ट हो गए थे। सूचना पर एसडीओ बीडी सकलानी ने रेंजर पूजा रावल के साथ मौके का निरीक्षण किया। कुल्हाल जंगल में हाथियों का मूवमेंट बढ़ता देख उन्होंने रेंजर को निर्देशित किया कि वन टीम ग्रामीणों को इस बात के लिए सतर्क करें कि वह जंगल में लकड़ी, चारा आदि के लिए न जाएं। साथ ही सर्दी के मौसम में होने वाली बरसात के दौरान नए पौधे तैयार करने के निर्देश दिए। वन प्रभाग के एसडीओ सकलानी ने कहा कि सर्दी के मौसम में ग्रामीण जंगल में लकड़ी बीनने चले जाते हैं, जिससे हाथियों का झुंड आक्रामक होकर नुकसान पहुंचा देता है। इसलिए ग्रामीणों को जंगल में जाने से बचना चाहिए। उन्होंने रेंजर को निर्देशित किया कि हाथियों को आबादी की ओर मूवमेंट करने से रोकने को गश्त भी बढ़ाई जाए।

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रेंज के जंगल से सटे हैं ये गांव

विकासनगर: तिमली रेंज के जंगल से पछवादून के धर्मावाला, आदूवाला, जुडली, कुंजाग्रांट, कुल्हाल, मटक माजरी, कुंजा, तिपरपुर, प्रतीतपुर, सभावाला, तिमली आदि एक दर्जन से अधिक गांव सटे हुए हैं। इन गांवों में गन्ने आदि की खेती अधिक होने के कारण हाथियों का झुंड अक्सर जंगल से निकलकर गांव की ओर रुख करता है, जिन्हें भगाने के लिए ग्रामीणों और वन कर्मियों को कड़ी मशक्कत करनी पड़ती है। गांवों में हर समय हाथियों और अन्य वन्यजीवों का खतरा बना रहता है। इसके चलते ग्रामीणों को खेत में काम करते समय भी हाथी का डर बना रहता है। बता दें कि, कुछ समय पहले सभावाला निवासी सुमेरचंद नामक बुजुर्ग को हाथी ने पटक कर गंभीर घायल कर दिया था। इसी तरह की घटना कुंजा मटक माजरी क्षेत्र में भी हुई थी। रेंजर पूजा रावल ने बताया कि हाथियों के मूवमेंट पर पैनी नजर रखी जा रही है। उजड़े पौधशाला के स्थान पर बीटिग अप सीजन में नए पौधे रोपे जाएंगे।


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