मड़लक की रामलीला में धनुष यज्ञ तक की लीला का हुआ मंचन
नेपाल सीमा से लगे मडलक में तीसरे दिन धनुष यज्ञ तक की रामलीला का मंचन किया गया।
संवाद सहयोगी, लोहाघाट : नेपाल सीमा से लगे मडलक में तीसरे दिन धनुष यज्ञ तक की रामलीला का मंचन किया गया। कोविड-19 के नियमों का पालन करने के साथ रामलीला का आयोजन किया जा रहा है। सोमवार देर रात तक दर्शकों ने रामलीला में धनुष यज्ञ का भरपूर मनोरंजन किया। धनुष यज्ञ के दौरान जनक की राजधानी में देश ही नहीं, बल्कि विदेशों से भूपति शिव धनुष को तोड़ने में विफल रहे। वही जनक ने सिया रहे कुंवारी टूटे नहीं चाप का गायन किया। विश्वामित्र के साथ जनक के दरबार में धनुष यज्ञ में शामिल हुए भगवान श्रीराम के प्रत्यंचा चढ़ाते ही धनुष टूट गया और सीता ने राम के गले में जयमाला पहनाई। रामलीला कमेटी अध्यक्ष भुवन चंद्र भट्ट ने अतिथियों का स्वागत किया। इस दौरान हरीश चंद्र पांडेय,विक्रम सिंह सामंत, हरीश बोहरा,बासुदेव उपाध्याय, सतीश पांडेय,गणेश सिंह, अमर नाथ, सोबन सिंह, दिनेश, हयात सिंह आदि मौजूद रहे।