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निर्वाचन अधिकारियों को पोस्टल बैलेट से मतदान कराने की दी जानकारी

पीठासीन अधिकारी और मतदान अधिकारी प्रथम का सैद्धान्तिक और व्यवहारिक प्रशिक्षण बुधवार को दूसरे दिन भी जारी रहा।

By JagranEdited By: Published: Wed, 19 Jan 2022 09:48 PM (IST)Updated: Wed, 19 Jan 2022 09:48 PM (IST)
निर्वाचन अधिकारियों को पोस्टल बैलेट से मतदान कराने की दी जानकारी
निर्वाचन अधिकारियों को पोस्टल बैलेट से मतदान कराने की दी जानकारी

संवाद सहयोगी, चम्पावत : पीठासीन अधिकारी और मतदान अधिकारी प्रथम का सैद्धान्तिक और व्यवहारिक प्रशिक्षण बुधवार को दूसरे दिन भी जारी रहा। मास्टर ट्रेनर्स ने ईवीएम तथा विभिन्न प्रपत्रों और निर्वाचन के दौरान प्रयोग में लाई जाने वाली सामग्री की जानकारी दी। मुख्य विकास अधिकारी एवं नोडल अधिकारी राजेंद्र सिंह रावत ने बताया कि मतदान के दिन वास्तविक मतदान से पूर्व अभिकर्ताओं की उपस्थिति मे अनिवार्य रूप से माकपोल कराया जाएगा। प्रशिक्षण में मतदान कार्मिकों को अपने मताधिकार का प्रयोग करने के लिए पोस्टल बैलट की जानकारी भी दी गई। इस दौरान 80 वर्ष से अधिक उम्र, दिव्यांग मतदाता तथा कोविड से प्रभावित मतदाता को पोस्टल बैलट से मतदान कराने की प्रक्रिया से भी अवगत कराया गया। बताया गया कि प्रत्येक मतदान दल में दो मतदान अधिकारी, माइक्रो आब्जर्वर और सुरक्षा अधिकारी रहेंगे। निर्वाचन की गोपनीयता बनाए रखने के लिए सम्पूर्ण मतदान प्रक्रिया की वीडियोग्राफी भी कराई जाएगी। पोस्टल बैलट की सुविधा लेने वाले मतदाता के पहली बार घर में नहीं मिलने पर दुबारा सूचना देकर मतदान दल उनके घर जाएगा। यदि दूसरी बार भी मतदाता नहीं मिलता है तो उस परिस्थिति में आगे कोई कार्रवाई नहीं की जाएगी। प्रभारी अधिकारी एवं सहायक परियोजना निदेशक विम्मी जोशी, डीडीओ संतोष पंत, जीवन कलौनी, अशोक कुमार, एमपी जोशी, अनिल रौतेला ने प्रशिक्षण प्रदान किया। प्रस्तुतिकरण में कंप्यूटर आपरेटर मनोज बिष्ट ने सहयोग दिया। ======== मेडिकल कमेटी जांच करेगी तभी मिलेगी चुनाव ड्यूटी से मुक्ति

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संवाद सहयोगी, पिथौरागढ़: चुनाव ड्यूटी में तैनात 300 से अधिक कर्मचारियों ने मेडिकल ग्राउंड पर ड्यूटी से मुक्त किए जाने की गुहार लगाकर निर्वाचन महकमे की परेशानी बढ़ा दी है। कर्मचारियों ने अपने पक्ष में बीमारी के प्रमाण भी निर्वाचन महकमे को सौंपे हैं। बड़ी संख्या में कर्मचारियों की इस मांग से सकते में आए प्रशासन ने मेडिकल बोर्ड का गठन कर दिया है। अब बोर्ड की सिफारिश के बाद ही कर्मचारियों को चुनाव ड्यूटी से मुक्त किया जाएगा। हर साल चुनावों के बाद बड़ी संख्या में कर्मचारी बीमारी का हवाला देते हुए चुनाव ड्यूटी से मुक्त रखे जाने की मांग करते हैं। पिछले वर्ष तक यहां संख्या कुछ दर्जन तक सीमित रहती थी वहीं इस वर्ष यह संख्या बढ़कर 300 से ऊपर पहुंच गई है। निर्वाचन महकमे में लगातार अर्जियां आ रही हैं। बड़ी संख्या में कर्मचारियों के चुनाव ड्यूटी से मुक्त रखे जाने की मांग से निर्वाचन महकमा भी दबाव में हैं। जिलाधिकारी ने बढ़ती संख्या को देखते हुए अब मेडिकल बोर्ड का गठन करने के निर्देश दे दिए हैं। सीडीओ कीे अध्यक्षता में गठित बोर्ड कर्मचारियों द्वारा ड्यूटी से मुक्त किए जाने के लिए दिए गए कारणों की जांच करेगा। बोर्ड में शामिल चिकित्सक चिकित्सा जांच करेंगे। बोर्ड की सिफारिश पर ही कर्मचारियों को चुनाव ड्यूटी से मुक्त किया जाएगा।


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