फूलों की घाटी पर्यटकों के लिए बंद, अब अगले साल उठा पाएंगे यहां के सौंदर्य का लुत्फ
विश्व प्रसिद्ध फूलों की घाटी बुधवार को पर्यटकों के लिए बंद कर दी गई है। इस साल 17 हजार से अधिक सैलानी फूलों की घाटी के दीदार को पहुंचे।
जोशीमठ, जेएनएन। नंदा देवी राष्ट्रीय उद्यान और विश्व प्रसिद्ध फूलों की घाटी बुधवार को पर्यटकों के लिए बंद कर दी गई है। इस साल 17 हजार से अधिक सैलानी फूलों की घाटी के दीदार को पहुंचे, जो कि एक रिकॉर्ड है। अब सैलानी अगले साल जून में घाटी की सैर कर वहां के सौंदर्य का लुत्फ उठा पाएंगे।
समुद्रतल से करीब 12500 फीट की ऊंचाई पर 87.5 वर्ग किलोमीटर क्षेत्रफल में फैली फूलों की घाटी जैव विविधिता का खजाना है। यहां दुर्लभ प्रजाति के फूल, वन्य जीव-जंतु, जड़ी-बूटियां और पक्षी पाए जाते हैं। साल 1931 में फूलों की घाटी की खोज ब्रिटिश पर्वतारोही फ्रेंकस्मिथ ने की थी। उन्होंने वैली ऑफ फ्लावर नाम की पुस्तक की रचना भी की।
साल 1982 में घाटी को राष्ट्रीय उद्यान घोषित किया गया और वर्ष 2005 में यूनेस्को ने इसे विश्व धरोहर घोषित किया। आपको बता दें कि इस घाटी में 500 से अधिक प्रजाति के फूल खिलते हैं। वहीं, वन क्षेत्राधिकारी बृजमोहन भारती ने बताया कि इस साल फूलों की घाटी में रिकॉर्ड 17424 सैलानी पहुंचे, जबकि साल 2018 में यह आंकड़ा करीब 14742 था।
घाटी में लगेंगे 12 कैमरा ट्रैप
सर्दियों में फूलों की घाटी की सुरक्षा के लिए नंदा देवी राष्ट्रीय पार्क प्रशासन पुख्ता व्यवस्था करने जा रहा है। इसके तहत घाटी में 12 कैमरा ट्रैप लगाए जाएंगे। वन क्षेत्राधिकारी बृजमोहन भारती ने बताया कि इसके अलावा घाटी में गश्त भी बढ़ाई जाएगी। इसके लिए 14 वन कर्मियों की टीम बनाई गई है।