बागेश्वर का मिनिस्ट्रीयल ऐसोसिएशन लंबित मांगों के निराकरण पर अड़ा
बागेश्वर जिले का उत्तराखंड फेडरेशन आफ मिनिस्ट्रीयल सर्विसेज ऐसोसिएशन लंबित समस्याओं का हल न निकलने पर आक्रोशित है।
जागरण संवाददाता, बागेश्वर : उत्तराखंड फेडरेशन आफ मिनिस्ट्रीयल सर्विसेज ऐसोसिएशन लंबित समस्याओं का निराकरण नहीं होने पर आक्रोशित हैं। उन्होंने सोमवार को जिलाधिकारी विनीत कुमार को ज्ञापन सौंप कहा कि कर्मचारी चरणबद्ध आंदोलन पर हैं। उन्होंने समस्याओं का समाधान करने की मांग की। ज्ञापन में कहा है कि संगठन जायज मांगों को लेकर लंबे समय से आंदोलित है। 27 जुलाई 2020 को अपर मुख्य सचिव की अगुआई में संगठन की बैठक आयोजित की गई थी। बैठक में शासन ने कुछ मांगों पर सहमति जताई, लेकिन अभी तक उन पर कोई कार्रवाई नहीं हो सकी है। उन्होंने कहा कि मिनिस्ट्रीयल संवर्ग को पूर्व से मिल रही एसीपी, एमएसीपी का लाभ बंद कर दिया गया है। लाभ की वूसली करने के नियम विरुद्ध आदेश को तत्काल निरस्त किया जाना चाहिए। कनिष्ठ सहायक पद पर भर्ती के लिए शैक्षिक योग्यता इंटर मीडिएट के स्थान पर ग्रेजुएट और अनिवार्य अर्हता में एक वर्षीय कंप्यूटर डिप्लोमा निर्धारित किया जाए। अर्हकारी सेवा में शिथिलीकरण की व्यवस्था बहाल की जाए। मुख्य प्रशासनिक अधिकारी के पद पर पदोन्नति के लिए निर्धारित न्यूनतम सेवा अवधि 25 वर्ष से घटाकर 22 वर्ष की जाए। मुख्य प्रशासनिक अधिकारी के पद की गरिमा के अनुरूप उसके कर्तव्य एवं दायित्व तत्काल निर्धारित किए जाएं। अक्टूबर 2005 के बाद नियुक्त काíमकों को अंशदायी पेंशन योजना के स्थान पर पुरानी पेंशन का लाभ दिया जाए। स्थानांतरण अधिनियम 2017 में संगठन के अनुरूप विसंगतियों का तत्काल निराकरण किया जाए। इसके अलावा सचिवालय एवं अन्य संवर्गों की भांति मिनिस्ट्रीयल संवर्ग को वाहन, भत्ता, अभिलेख अनुरक्षण भत्ता देने, सभी प्रदेश स्तरीय कार्यालयों में वेतनमान 67700-208700 लेवल 11 में उपनिदेशक प्रशासन के पद सृजित, काíमकों को जारी गोल्डन कार्ड योजना की कमियां दूर करने, अटल आयुष्मान योजना से अलग करते हुए स्टेट गवर्नमेंट हेल्थ स्कीम के नाम से लागू करने आदि मांगें पूरी करने की मांग की। इस दौरान जिलाध्यक्ष अनिल जोशी, संतोष कुमार सिंह खेतवाल आदि मौजूद थे।