आशाओं ने मांगा काम के बदले पूरा दाम
बागेश्वर में उत्तराखंड आशा हेल्थ वर्कर्स यूनियन ने उपजिलाधिकारी राकेश चंद्र तिवारी के माध्यम से मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को ज्ञापन भेजा है।
जागरण संवाददाता, बागेश्वर : उत्तराखंड आशा हेल्थ वर्कर्स यूनियन ने उपजिलाधिकारी राकेश चंद्र तिवारी के माध्यम से मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को ज्ञापन भेजा है। उन्होंने 12 सूत्रीय मांगों का निराकरण करने की मांग की। ऐसा नहीं होने पर आंदोलन तेज करने की चेतावनी दी है। गुरुवार को केंद्रीय ट्रेड यूनियनों और फेडरेशनों के संयुक्त आह्वान पर आहूत अखिल भारतीय हड़ताल का उन्होंने समर्थन किया। उन्होंने कहा कि आशाओं को मातृ-शिशु मृत्यु दर को कम करने के लिए नियुक्त किया गया था, लेकिन विभिन्न सर्वे और काम का बोझ लगातार बढ़ रहा है। काम के बदले उन्हें दाम नहीं मिल रहे हैं। सरकार ने उन्हें मुफ्त कर्मचारी समझ लिया है। उन्होंने इसके अलावा आशा वर्करों को सरकारी सेवक का दर्जा और न्यूनतम 21 हजार रुपये वेतन नहीं मिलने तक अन्य स्कीम वर्कर्स की तरह मासिक मानदेय फिक्स करने, देय मासिक राशि और सभी मदों का बकाया सहित समय से भुगतान, भुगतानों में नीचले स्तर पर व्याप्त भ्रष्टाचार व कमीशनखोरी पर लगाम लगाने, कोविड-19 कार्य में लगी आशाओं को 10 हजार रुपये कोरोना लाकडाउन का भुगतान करने, 50 लाख रुपये का जीवन बीमा और 10 लाख रुपये का स्वास्थ बीमा, मृत्यु होने पर आश्रितों को 50 लाख का बीमा और चार लाख रुपये अनुग्रह अनुदान, सेवा के दौरान मृत्यु पर दस लाख रुपये का मुआवजा, हड़ताल के समय मानदेय काटने का निर्णय वापस लेने आदि मांगों पूरी करने की मांग की। इस मौके पर यूनियन के अध्यक्ष सीमा खान, मंजू परिहार, नीमा बोरा, पुष्पा देवी, गोमती देवी आदि आशा कार्यकर्ता मौजूद थी।