किसानों की कमर तोड़ रहे जंगली जानवर
संवाद सहयोगी, रानीखेत/ ताड़ीखेत : विकासखंड के साथ ही कोसी घाटी के सब्जी व फसल उत्पादक क्षे
संवाद सहयोगी, रानीखेत/ ताड़ीखेत : विकासखंड के साथ ही कोसी घाटी के सब्जी व फसल उत्पादक क्षेत्रों में जंगली जानवरों का कहर थम नहीं रहा। खासतौर पर जंगली सूअर हाड़तोड़ मेहनत कर रहे किसानों की कमर तोड़ रहे। तमाम गांवों में तैयार उपज सूअरों के झुंड ने बर्बाद कर दी है। घाटी वाले इलाकों में धान की फसल ही रौंद डाली है।
ताड़ीखेत ब्लॉक के तौड़ा, पपना, कोठार, सिमोली, पथुली, थकुलाड़ी, सिमाणी व गैरण समेत कोसी घाटी के धारी, खैरनी, हल्सों, कोरण, धनियाकोट, सिमलखा आदि गाव में जंगली जानवरों का आतंक बढ़ता ही जा रहा है। सूअर जहां मडुवा, झुंगरा, आलू, टमाटर व मिर्च की फसलों को रौंदकर नुकसान पहुंचा रहे हैं वहीं बंदर सब्जी उत्पादक गांवों में आतंक मचा रहे। परेशान काश्तकारों ने शासन प्रशासन से जंगली जानवरों से निजात दिला मुआवजा दिए जाने की मांग की है।
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सूअर रोधी सोलर दीवारें भी बेअसर
कोसी घाटी के प्रगतिशील किसान बिशन जंतवाल के अनुसार कई गावों में सूअरों व अन्य जंगली जानवरों को रोकने के लिए लाखों रुपये खर्च कर सोलर दीवारों का निर्माण किया गया है। बावजूद इसके सूअर खेतों में घुस किसानों की मेहनत पर पानी फेर रहे हैं।