अल्मोड़ा में घर में मृत मिले मैग्नेसाइट फैक्ट्री के पूर्व अधिकारी
अल्मोड़ा में मैग्नेसाइट फैक्ट्री झिरौली (बागेश्वर) के पूर्व वरिष्ठ जनसंपर्क अधिकारी कमरे में मृत मिले।
संवाद सहयोगी, अल्मोड़ा : मैग्नेसाइट फैक्ट्री झिरौली (बागेश्वर) के पूर्व वरिष्ठ जनसंपर्क अधिकारी दयाशंकर जोशी सोमवार को अपने घर में मृत मिले। मौके के हालात बता रहे हैं कि उनकी मौत सप्ताह भर पहले हुई। वह उत्तराखंड की सबसे पहली दवा फैक्ट्री 'आल्पस' के स्वामी खजान जोशी के भाई थे। मगर छह सात वर्षो से एकाकी जीवन जी रहे थे। करीबी लोगों ने बताया कि बेटे की दिल्ली में सड़क हादसे में मौत के बाद परेशान रहने लगे थे।
नगर से लगे एनटीडी वार्ड स्थित रानीधारा टॉप निवासी दयासागर जोशी (68) पुत्र एमडी जोशी अकेले रहते थे। 23 अगस्त से आसपड़ोस के लोगों ने उन्हें नहीं देखा। कमरे से सड़न आने पर पुलिस को सूचना दी गई। सीओ वीर सिंह, एसएसआइ बसंती आर्या व एसआइ संतोष देवरानी ने मुआयना किया। उन्होंने बताया कि शव के पास से दो पत्र व एक लिफाफा बरामद हुआ है। जिसमें उन्होंने किसी से कोई शिकायत न होने की बात लिखी है। शव पोस्टमॉर्टम के लिए भिजवाया है।
इधर, दयासागर के बेहद करीबी व अधीनस्थ रहे मैग्नेसाइट फैक्ट्री के पूर्व प्रबंधक (प्रशासन) दीप सनवाल ने बताया कि वह उनके बॉस रहे। मैग्नेसाइट फैक्ट्री की स्थापना वर्ष 1981 से 1986 तक वह वरिष्ठ पीआरओ रहे। बाद में उन्होंने त्यागपत्र दे दिया था। उनके बड़े भाई हरीश जोशी हल्द्वानी बस गए थे। उनकी भी मृत्यु हो चुकी है। दूसरे बड़े भाई आल्पस फैक्ट्री के स्वामी खजान जोशी व छोटे मुन्ना जोशी हैं। इकलौता बेटा दस वर्ष पूर्व दिल्ली में एक सड़क हादसे का शिकार हो गया था। तब से वह परेशान रहने लगे थे।
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