जौनपुर में रिटायर्ड फौजी की गोली मारकर हत्या, आटो पार्ट्स की दुकान बंद कर बाइक से जा रहे थे घर
केराकत कोतवाली क्षेत्र के थानागद्दी पुलिस चौकी अंतर्गत मथुरापुर तिराहे से आठ सौ मीटर दूर (विसेनपुर) मथुरापुर गांव में रिटायर्ड फौजी की गोली मारकर हत्या कर दी गयी।
जौनपुर, जेएनएन। केराकत कोतवाली क्षेत्र के विसेनपुर गांव के पास सोमवार की रात रिटायर्ड फौजी की गोली मारकर हत्या कर दी गई। बाइक सवार तीन बदमाशों ने घर से करीब डेढ़ किमी पहले ही वारदात को अंजाम दिया। हत्या का कारण स्पष्ट नहीं हो सका है। इससे क्षेत्र में दहशत व्याप्त हो गया है। सूचना पर मयफोर्स पहुंची पुलिस से पूरा गांव छावनी में तब्दील गया है।
पहाड़ी पट्टी गांव निवासी रिटायर्ड फौजी अशोक ङ्क्षसह (56) की मथुरापुर में आटो पाट््र्स की दुकान है। वे शाम को दुकान बंद करके रोज की तरह बाइक से घर जा रहे थे। घर से करीब डेढ़ किमी पहले विसेनपुर गांव के पास पहुंचे ही थे कि दो बाइक पर सवार तीन बदमाशों ने उन्हें रोक लिया। लोगों ने बताया कि इस दौरान फौजी अशोक ङ्क्षसह बदमाशों से भिड़ गये। हाथापाई होने के बाद बदमाशों ने गोली मार दी और भाग गये। गोली फौजी के सीने बायीं ओर लगी। बेखौफ बदमाशों ने थानागद्दी पुलिस चौकी से महज आठ सौ दूरी पर घटना को अंजाम दिया। गोली की आवाज सुनकर जब ग्रामीण सड़क की तरफ भागकर गये तो देखा कि बाइक सवार बदमाश भाग रहे थे। जब लोग घटनास्थल पर पहुंचे तो फौजी घायल होकर लुढ़के पड़े कराह रहे थे। सूचना पाकर मौके पर पहुंचे उनके बेटे रितेश सिंह ने आनन-फानन में पिता को इलाज के लिए लेकर वाराणसी भागे। जहां चिकित्सकों ने देखते ही मृत घोषित कर दिया। घटना की जानकारी मिलते ही केराकत सीओ रामभुवन यादव, कोतवाल ङ्क्षबद कुमार मयफोर्स पहुंचकर छानबीन में जुट गये। फौजी के घर में उनकी पत्नी व एक बेटा रहता था। एक बेटा बाहर रहता है। घटना को क्यों अंजाम दिया गया यह कोई बता नहीं पा रहा है।
शांत स्वभाव वाले फौजी की हत्या को लेकर उठ रहे सवाल
शांत स्वभाव वाले रिटायर्ड फौजी अशोक ङ्क्षसह की हत्या ने बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है। हर दिन फौजी अशोक ङ्क्षसह शाम छह बजे मथुरापुर से दुकान से घर के लिए निकले जाते थे लेकिन सोमवार को वह एक घंटे बाद दुकान से निकले थे। सड़क खराब होने के कारण वह बाइक से धीरे-धीरे जा रहे थे कि दुकान से लगभग आठ सौ मीटर ही पहुंचे होंगे कि बदमाशों ने उन्हें रोक लिया। इस दौरान फौजी भी हिम्मत दिखाते हुए बदमाशों से भिड़ गये लेकिन बदमाशों गोली से हार गये। घटना के बाद सवाल उठने लगा कि आखिर क्यों बदमाशों ने गोली मारी। उनकी छिनैती की नियत थी या पुरानी अदावत रही। हालांकि इसे लेकर पुलिस भी उलझी रही। वहीं गांव के लोग भी कुछ बताने असर्थक रहे।