चार माह से पहले रेलवे यूनियन चुनाव की उम्मीद नहीं, बोले नार्दर्न रेलवे मेंस यूनियन के महामंत्री शिवगोपाल मिश्रा
रेलवे यूनियन मान्यता का चुनाव चार महीने तक होने की उम्मीद नहीं है। सरकार की मंशा के अनुरूप इसे टाला जा रहा है।कर्मचारी संगठन को कमजोर करने की साजिश है। यह बातें आल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन व नार्दर्न रेलवे मेंस यूनियन के महामंत्री शिवगोपाल मिश्रा ने मंगलवार को कही।
वाराणसी, जेएनएन। रेलवे यूनियन मान्यता का चुनाव चार महीने तक होने की उम्मीद नहीं है। केंद्र सरकार की मंशा के अनुरूप इसे टाला जा रहा है। यह कर्मचारी संगठन को कमजोर करने की साजिश है। यह बातें आल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन व नार्दर्न रेलवे मेंस यूनियन के महामंत्री शिवगोपाल मिश्रा ने मंगलवार को कही। कार्यकर्ता जागरूकता अभियान के तहत कैंट स्टेशन पर यूनियन कार्यालय में हुई प्रेसवार्ता के दौरान केंद्र सरकार की नीतियों को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि मान्यता चुनाव को लेकर रेल मंत्रालय असमंजस में है। गजट तो निकाल दिया गया, लेकिन चुनाव की रूपरेखा अब तक तैयार नहीं हुई। मान्यता प्राप्त संगठनों का कार्यकाल डेढ़ वर्ष पहले ही पूरा हो चुका है। सिर्फ तिथियां बढ़ाई जा रही हैं।
बताया कि 16 क्षेत्रीय रेलवे में उनका संगठन मजबूत स्थिति में है। सरकार ट्रेड यूनियन के चुनाव में अनावश्यक बदलाव कर रही है। श्रम मंत्रालय ने भी उसी दिशा में काम कर रहा है। कहा कि निगमीकरण व निजीकरण के अलावा कर्मचारी विरोधी नीतियों के खिलाफ आंदोलन जारी रहेगा। वर्तमान दौर में वर्ष 1974 आंदोलन जैसे हालात बन रहे हैं। तब ट्रेड यूनियन के आगे सरकार को झुकना पड़ा था।
कार्यकर्ता जागरूकता अभियान के तहत कैंट स्टेशन पर शिवगोपाल मिश्रा ने नार्दर्न रेलवे मेंस यूनियन वाराणसी व डीएलडब्ल्यू यूनियन के कार्यकर्ताओं संग रेल उद्योग पर आने वाले संकट के बारे में अवगत कराया और चुनौतियों से लडऩे के लिए तैयार रहने को कहा। कहा- केंद्र सरकार रेल कर्मियों व अन्य असंगठित क्षेत्र के मजदूरों के हितों पर निरंतर कुठाराघात नए श्रम कानून लाकर कर रही है। जिससे रेलवे में नौकरी कर रहे छह लाख नौजवानों का भविष्य अधर में है।
कार्यक्रम में लखनऊ मंडल के मंडल अध्यक्ष राजेश सिंह, सहायक मंडल मंत्री एसके सिंह, शाखा सचिव सुनील कुमार सिंह, डीके सिंह, राजकुमार, शाखा अध्यक्ष राजेश्वर शुक्ला, सुभाष गौतम, डीपी सिंह, अखिलेश पांडेय, प्रमोद कुमार, अशोक राय तफ्जील अहमद आदि रेलकर्मी उपस्थित थे।