पूर्वोत्तर व उत्तर रेलवे में अब 2200 नौकरियां खत्म
भारतीय रेलवे में अब नौकरियां भी धीरे - धीरे कम होती जा रही हैं।
विनोद पांडेय, वाराणसी : रेलवे में अब नौकरियां भी धीरे - धीरे कम होती जा रही हैं। वर्तमान वित्तीय वर्ष में रेलवे के सभी 16 जोन में कुल अब तक 11040 नौकरियां सरेंडर हुई हैं। पूर्वोत्तर व उत्तर रेलवे की बात करें तो दोनों ही जोन में 2200 पदों की नौकरियां रेलवे में खत्म की गई। सर्वाधिक नौकरियां उत्तर व साउथ रेलवे जोन में सरेंडर हुई हैं। दोनों ही प्रमुख जोन में 15-15 सौ यानी कुल तीन हजार नौकरियां सरेंडर हुई। नार्दन सेंट्रल रेलवे सबसे कम नौकरी सरेंडर करने वाला जोन है। नौकरियों को सरेंडर करने के बाबत एक रिपोर्ट ईएंडआर रेलवे बोर्ड के एक्जीक्यूटिव डायरेक्टर विकास आर्या ने 11 जून को सभी जोन के जनरल मैनेजर को भेजी थी। अब इस लिहाज से देखें तो पूर्वोत्तर व उत्तर रेलवे में अब 2200 नौकरियां खत्म हो गई हैं। जोनवार सरेंडर नौकरियों का वर्तमान हाल
-नार्दन ईस्टर्न रेलवे (एनईआर) : 700
-नार्दन रेलवे (एनआर) : 1500
-सेंट्रल रेलवे (सीआर) : 1000
-ईस्टर्न रेलवे (ईआर) : 1100
-ईस्टर्न सेंट्रल रेलवे (ईसीआर) : 300
-ईस्टर्न कोंकर्ण रेलवे (ईसीओआर): 700
-नार्दन सेंट्रल रेलवे (एनसीआर) :165
-पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे (एनएफआर): 550
-नार्दन-वेस्ट रेलवे (एनडब्ल्यूआर) : 300
-साउथ रेलवे (एसआर) : 1500
-साउथ सेंट्रल रेलवे (एससीआर) : 800
-साउथ ईस्टर्न रेलवे (एसईआर) : 825
-साउथ ईस्टर्न सेंट्रल (एसईसीआर): 400
-साउथ-वेस्ट (एसडब्ल्यूआर) : 200
-वेस्ट रेलवे (डब्ल्यूआर) : 700
-वेस्ट सेंट्रल रेलवे (डब्ल्यूसीआर): 300 ----
यह हर वर्ष की प्रक्रिया है। इसमें वे पद सरेंडर होते हैं जो रेलवे के आधुनिक होने के क्रम में बेकार हो गए या होने वाले हैं। इन पदों पर तैनात कर्मियों को अन्य जगह समायोजित कर पद सरेंडर कर दिए जाते हैं।
- अशोक कुमार, जनसंपर्क अधिकारी, पूर्वोत्तर रेलवे, वाराणसी मंडल