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गाजीपुर जिले में लर्निंग 201 और स्थाई के लिए सिर्फ 36 का ही बुक हो रहा स्लाट

एआरटीओ कार्यालय के सिस्टम को काफी प्रभावित किया गया। भीड़ कम करने के उद्देश्य से स्थाई डीएल के लिए कम किया गया स्लाट अभी तक नहीं बढ़ाने से अभ्यर्थी काफी परेशान हैं। हालत यह है कि लर्निंग डीएल के लिए प्रतिदिन 201 का स्लाट बुक हो रहा है

By Abhishek SharmaEdited By: Published: Tue, 31 Aug 2021 08:00 AM (IST)Updated: Tue, 31 Aug 2021 08:00 AM (IST)
गाजीपुर जिले में लर्निंग 201 और स्थाई के लिए सिर्फ 36 का ही बुक हो रहा स्लाट
एआरटीओ कार्यालय के सिस्टम को काफी प्रभावित किया गया।

जागरण संवाददाता, गाजीपुर : कोरोना ने एआरटीओ कार्यालय के सिस्टम को काफी प्रभावित किया गया। भीड़ कम करने के उद्देश्य से स्थाई डीएल के लिए कम किया गया स्लाट अभी तक नहीं बढ़ाने से अभ्यर्थी काफी परेशान हैं। हालत यह है कि लर्निंग डीएल के लिए प्रतिदिन 201 का स्लाट बुक हो रहा है, जबकि स्थाई के लिए मात्र 36। इतना लंबा गैप होने के कारण अब अभ्यर्थियों का स्लाट ही नहीं बुक हो पा रहा है, तो बहुतों को दो से तीन माह तक इंतजार करना पड़ रहा है, जबकि एक सप्ताह के अंदर ही पहले मिल जाता था।

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सहायक संभागीय परिवहन विभाग में वर्तमान में स्थाई डीएल के लिए सिर्फ 36 स्लाट ही बुक किए जा रहे हैं। इस समय आवेदन करने पर आवेदनकर्ताओं को अक्टूबर माह का स्लाट बुक हो रहे हैं। लर्निंग लाइसेंस बनने के 30 दिन बाद ही परमानेंट के लिए आवेदन किया जाता है। कोरोना संक्रमण काल में लोगों की भीड़ कम करने की नियत से स्लाट की संख्या को कम किया गया है, लेकिन कोरोना का प्रकोप कम होने के बाद भी ड्राइविंग लाइसेंस के आवेदकों को परमानेंट डीएल बनवाने के लिए दो माह का इंतजार करना पड़ रहा है। वर्तमान समय में सैकड़ों अभ्यर्थी ऐसे हैं, जिनके परमानेंट डीएल की अवधि फेल होने वाली है, लेकिन स्थाई के लिए उनका स्लाट भी नहीं बुक हो पा रहा है। ऐसे सभी लोग काफी चिंतित हैं। हालांकि लर्निंग डीएल की अवधि छह माह के लिए बढ़ाई जाती है, लेकिन इसके के लिए तीन सौ रुपये की आनलाइन फीस कटानी पड़ती है।

बोले अधिकारी : उच्चाधिकरियों के निर्देशानुसार 36 आवेदकों के ही परमानेंट ड्राइविंग लाइसेंस बनाए जा जा रहे हैं। स्लाट बुक करना अनिवार्य है। कोरोना को देखते हुए स्लाट की संख्या कम की गई थी। उच्चाधिकारियों से स्लाट की संख्या बढ़ाए जाने की मांग की गई है। प्रयास जारी है जल्द ही इस समस्या से निजात मिल सकेगी। -राम सिंह, एआरटीओ। 


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