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inflation पर नियंत्रण के लिए उद्यान सहित चार विभाग बेचेंगे आलू, प्याज और टमाटर

प्रदेश सरकार ने हरियाणा हिमांचल प्रदेश महाराष्ट्र व मध्य प्रदेश में भारी बारिश की वजह से प्रदेश सहित जनपद की मंडियों में आलू प्याज एवं टमाटर के आसमान छू रहे भाव को लेकर शासन-प्रशासन ने कमर कस ली है।

By Abhishek SharmaEdited By: Published: Sun, 08 Nov 2020 10:30 AM (IST)Updated: Sun, 08 Nov 2020 10:46 AM (IST)
inflation पर नियंत्रण के लिए उद्यान सहित चार विभाग बेचेंगे आलू, प्याज और टमाटर
आलू, प्याज एवं टमाटर के आसमान छू रहे भाव को लेकर शासन-प्रशासन ने कमर कस ली है।

मऊ [जयप्रकाश निषाद]। हरियाणा, हिमांचल प्रदेश, महाराष्ट्र व मध्य प्रदेश में भारी बारिश की वजह से प्रदेश सहित जनपद की मंडियों में आलू, प्याज एवं टमाटर के आसमान छू रहे भाव को लेकर शासन-प्रशासन ने कमर कस ली है। अब उद्यान विभाग सहित चार विभागों से जनपद में आलू, प्याज व टमाटर बेचने की योजना बनाई जा रही हैं। यहां से आम आदमी को रियायत दर पर आलू, प्याज व टमाटर जहां मिलेगा, वहीं व्यापारियों की जमाखोरी से भी मुक्ति मिल जाएगी। यही नहीं विक्रय केंद्रों पर प्रशासन पूरी तरह से निगरानी भी रखेगा। प्रशासन का दावा है कि किसी भी शीतगृह पर आलू नहीं रखा गया है।

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पिछले एक माह से आलू, प्याज व टमाटर के भाव में रिकार्ड वृद्धि हुई है। आलू 40 से 45, प्याज 70 से 80 व टमाटर 50 से 60 रुपये प्रति किग्रा बिक रहा है। इसकी वजह से आम आदमी की कमर ही टूट गई है। आलू से चोखा बनाकर जीवन यापन करने वाले लोगों के निवाले पर चल रही महंगाई की कैंची कहर बरपा रही है। रबी मौसम में उत्पादित होने वाली टमाटर की फसल माह नवंबर के अंत तक ही जनपद की मंडियों में विक्रय के लिए उपलब्ध हो सकेगी। प्याज की आवक वर्तमान समय में गुजरात, महाराष्ट्र एवं मध्य प्रदेश में खरीफ मौसम में उत्पादित फसल से हो रही है। प्रदेश सहित जनपद का उत्पादन आगामी मार्च माह के बाद ही उपलब्ध हो पाएगा। ऐसे में महंगाई आगे और खींच सकती है। इसे देखते हुए प्रशासन ने चार विभागों को इसे बेचने की जिम्मेदारी सौंपी है। इसमें राज्य औद्यानिक सहकारी विणन संघ (हाफेड), उप्र राज्य कृषि उत्पादन मंडी परिषद, दुग्ध विकास विभाग व राज्य कर्मचारी कल्याण निगम शामिल हैं।

प्रदेश में आलू की स्थिति

इस वर्ष कुल 98.18 लाख टन आलू का भंडारण पूरे प्रदेश में हुआ है। पिछले वर्ष 121.99 लाख टन उत्पादन हुआ था। इसके सापेक्ष करीब 24 टन आलू कम उत्पादन हुआ है। इसी प्रकार मथुरा की मंडी में न्यूनतम थोक बाजार भाव 2680 प्रति कुंतल एवं गाजियाबाद में अधिकतम थोक बाजार 3275 प्रति कुंतल है।

दिसंबर माह तक तैयार हो सकता है टमाटर

बारिश की वजह से जनपद में भी टमाटर की फसल समय से नहीं बोई जा सकी। इसकी वजह से इस बार टमाटर की फसल आने में करीब एक माह से अधिक लग जाएगा। ऐसे में अभी टमाटर का भी भाव आसमान छुएगा।

बोले अधिकारी

शासन के निर्देश पर जल्द ही विक्रय केंद्रों पर आलू, प्याज व टमाटर उपलब्ध हो जाएगा। इसके बाद यहां से आम आदमी सीधे रियायत दर पर यह खरीद सकता है। इससे जमाखोरी पर पूरी तरह से लगाम लग जाएगा।  -सुभाष कुमार, जिला उद्यान अधिकारी मऊ।


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