वाराणसी में अन्नपूर्णा मन्दिर के महंत रामेश्वरपुरी की स्थिति नाजुक, लखनऊ में 72 घंटों से वेंटिलेटर पर
अन्नपूर्णा मन्दिर के महंत रामेश्वरपुरी की स्थिति नाजुक बनी हुई है। पिछले 72 घण्टे से वह वेंटिलेटर पर हैं। उनकी हालत में सुधार न होने पर सुबह उनको वाराणसी से लखनऊ के मेदांता अस्पताल ले जाया गया। एम्बुलेंस से वह लखनऊ के लिए रवाना हुए।
वाराणसी, जेएनएन। अन्नपूर्णा मन्दिर के महंत रामेश्वरपुरी की स्थिति नाजुक बनी हुई है। पिछले 72 घण्टे से वह वेंटिलेटर पर हैं। कुंभ के दौरान संक्रमित होने पर भी उन्हें मेदांता हास्पिटल में भर्ती कराया गया था। रिपोर्ट निगेटिव होने पर वहां से 28 अप्रैल को बनारस आ गये थे। हालांकि दमा के कारण फेफड़ा पहले से कमजोर होने से स्थानीय डाक्टरों की निगरानी में आक्सीजन पर ही थे। दिक्कत बढने पर 11 जून को एंबुलेंस से लखनऊ ले जाए गये थे। हालत में सुधार भी था, लेकिन 72 घंटे पहले दिक्कत बढने पर वेंटिलेटर पर रखा गया है। वहीं जानकारी होने के बाद उप महंत शंकरपुरी उनकी गंभीर हालत को देखते हुए लखनऊ रवाना हो गए हैं।
इससे पूर्व अप्रैल में हरिद्वार में कुंभ के दौरान स्नान करने गए महंत को कोरोना का संक्रमण होने के बाद उनको नई दिल्ली के अस्पताल में भर्ती कराया गया था, उसके बाद लखनऊ लाकर उनको अस्पताल में भर्ती कराया गया। लंबे इलाज के बाद वह ठीक होकर वाराणसी आए थे और स्वास्थ्य लाभ कर रहे थे। इसके पूर्व जून माह में भी उनकी तबीयत दोबारा खराब हुई तो चिकित्सकों ने बताया था कि उनके हार्ट में इंफेक्शन बढ़ गई थी इसके साथ ही उनके शरीर में प्रोटीन और पोटैशियम की कमी पाई गई थी। इस बाबत मंदिर की ओर से जारी सूचना में बताया गया था कि उनकी दवा लगातार चल रही थी और स्थिति सामान्य हो चुकी थी।
मंदिर प्रबंधन की ओर से जारी सूचना के अनुसार हरिद्वार कुंभ के दौरान महंत रामेश्वरपुरी कोरोना संक्रमित हो गए थे। लखनऊ मेदांता में उनका इलाज चल रहा था। इस दौरान 28 अप्रैल को रिपोर्ट निगेटिव आने के बाद भी वह पूरी तरह स्वस्थ नहींं हुए थे। कमजोर फेफड़ों और दमा की वजह से उनकी हालत में अधिक सुधार नहीं हो पा रहा था। बीते 72 तीन दिनों पूर्व उनकी हालत को देखते हुए उनको वेंटिलेटर पर रखा गया था। वहीं उनकी हालत को देखते हुए उप महंत शंकरपुरी लखनऊ रवाना हो गए हैं।