पीएम स्वनिधि योजना में रैंकिंग का विषय बदलने से शीर्ष पर Varanasi, दूसरे स्थान पर इंदौर
पीएम स्ट्रीट वेंडर्स आत्मनिर्भर निधि (पीएम स्वनिधि) योजना की रैंकिंग में पिछले एक पखवारा से शीर्ष पर काबिज अहमदाबाद को पीछे छोड़ बनारस आगे निकल गया है। अब देश में शीर्ष स्थान पर बनारस काबिज हो गया है।
वाराणसी, जेएनएन। पीएम स्ट्रीट वेंडर्स आत्मनिर्भर निधि (पीएम स्वनिधि) योजना की रैंकिंग में पिछले एक पखवारा से शीर्ष पर काबिज अहमदाबाद को पीछे छोड़ बनारस आगे निकल गया है। अब देश में शीर्ष स्थान पर बनारस काबिज हो गया है। इसके पीछे मुख्य वजह योजना की रैंकिंग के विषय में बदलाव रहा। पहले इस योजना में आनलाइन फार्म भरने वाले अभ्यर्थियों की संख्या, इसके बाद लोनिंग के लिए फार्म स्वीकृति की संख्या को रखा गया था। तय विषय में सर्वाधिक संख्या हासिल कर पिछले एक पखवारा से अहमदाबाद पहले व दूसरे स्थान पर बनारस बना रहा। भारत सरकार ने सोमवार की रात दस बजे के बाद योजना की उपलब्धियों को रैंकिंग का मुख्य विषय निर्धारित कर दिया। मतलब, इस योजना में कितने लाभार्थी के खाते में धनराशि गई। यह विषय तय होते ही बनारस 7,637 लाभार्थियों को ऋण मुहैया कराने की संख्या बल पर अहमदाबाद को पछाड़ अव्वल हो गया। दूसरे स्थान पर इंदौर, तीसरे पर भोपाल, चौथे पर जबलपुर, पांचवें पर ग्वालियर काबिज हो गया। टाप टेन में यूपी के जहां दो जिले हैं वहीं मध्य प्रदेश के सात जिलों ने इसमें जगह बनाई है। यूपी का दूसरा जनपद प्रयागराज (सातवें) भी टाप टेन में स्थान बनाने में सफल रहा। लखनऊ 16वें नंबर पर रहा।
लक्ष्य तय कर हासिल की उपलब्धि
जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा ने इस उपलब्धि का श्रेय पूरी टीम को दिया है। वहीं, परियोजना अधिकारी, डूडा जया सिंह ने इस उपलब्धि का श्रेय जिलाधिकारी के कुशल नेतृत्व को दिया है। कहा कि टीम की मेहनत रंग लाई। दिन-रात पूरी टीम इस कार्य को मुकाम देने में जुटी थी। बैंकों ने अंतिम दौर में लोन स्वीकृति में तेजी दिखाकर बड़ा काम कर दिया। एक माह से टीम इस योजना से अधिक से अधिक लोगों को लाभ दिलाने के लिए संकल्पित थी। साथ ही बनारस को शीर्ष पर काबिज कराने को लेकर मेहनत कर रही थी। अब आगे रैंकिंग को बनाए रखना चुनौती से कम नहीं होगी।
तत्काल दस हजार की मदद, आगे कई लाभ
लाकडाउन से प्रभावित शहरी पथ विक्रेताओं यानी पटरी पर दुकान लगाने वाले कारोबारियों को रोजगार प्रारंभ करने के लिए एक लघु ब्याज आधारित अनुदान ऋण सुविधा के लिए पीएम स्वनिधि योजना की शुरुआत हुई। योजना में पात्र कारोबारियों को दस हजार रुपये बैंक से लोन प्रदान किया जाता है। कारोबारियों को धनराशि 12 किस्तों में चुकानी है। समय से धन चुकाने पर सात फीसद ब्याज में सब्सिडी की भी सुविधा है। इसके अलावा डिजिटल लेनदेन पर पचास से सौ रुपये तक की मासिक नकदी वापसी की भी व्यवस्था है। इसके अलावा इसी के आधार पर आगे भी जरूरत मुताबिक बैंक ऋण मुहैया कराने की बात है। आवास, कारोबार के लिए अन्य प्रकार के ऋण आदि की सुविधा भी इसी सूची के आधार पर दिए जाने का प्लान है। योजना में लाभ लेने के लिए वेंडरों को आनलाइन फार्म भरना होता है।
जनपद | लाभार्थी (लोन खाते में) |
वाराणसी | 7,637 |
इंदौर | 7,510 |
भोपाल | 7,108 |
जबलपुर | 6,355 |
ग्वालियर | 4,871 |
हैदराबाद | 4,649 |
प्रयागराज | 2,513 |
उज्जैन | 2,328 |
देवास | 2,173 |
खंडवा | 2,114 |