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मऊ में सेना में भर्ती की तैयारी के लिए दौड़ रहे युवक को बाइक सवार बदमाशों ने मारी गोली, मौत

सेना में भर्ती की तैयारी के लिए मऊ चिरैयाकोट थाना क्षेत्र के असलपुर गांव में मंगलवार की रात दौड़ का अभ्यास कर रहे अरविंद राम को बाइक सवार बदमाशों ने गोली मारकर हत्या कर दी। लगभग आठ बजे घटना को अंजाम देकर बदमाश फरार हो गए।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Published: Tue, 12 Jan 2021 10:20 PM (IST)Updated: Tue, 12 Jan 2021 11:56 PM (IST)
मऊ में सेना में भर्ती की तैयारी के लिए दौड़ रहे युवक को बाइक सवार बदमाशों ने मारी गोली, मौत
सेना में भर्ती की तैयारी के लिए दौड़ रहे अरविंद को बाइक सवार बदमाशों ने गोली मार दी।

मऊ, जेएनएन। सेना में भर्ती की तैयारी के लिए चिरैयाकोट थाना क्षेत्र के असलपुर गांव में मंगलवार की रात दौड़ का अभ्यास कर रहे अरविंद राम को बाइक सवार बदमाशों ने गोली मारकर हत्या कर दी। लगभग आठ बजे घटना को अंजाम देकर बदमाश फरार हो गए। वहीं, दौड़ रहा दूसरा युवक अमन लापता है। मौके पर पहुंचे डायल 112 का वाहन, बाइक व पुलिस वाहन को आक्रोशित ग्रामीणों ने फूंक दिया। साथ ही शातिर बदमाश राहुल सिंह पर गोली मारने का आरोप लगाते हुए भीड़ ने जाति विशेष की बस्ती पर हमला बोल एक व्यक्ति के पुआल के ढेर में आग लगा दी। उपद्रवियों ने सेवानिवृत अध्यापक कैलाश सिंह को पीटकर गंभीर रूप से घायल कर दिया और पथराव किया। युवक को गोली मारने की घटना का जुड़ाव पिछले वर्ष सितंबर माह में हुई ग्राम प्रधान मुन्ना राव बागी हत्याकांड से है। अरविंद राम का चाचा प्रधान की हत्या में गवाह बताया जा रहा है।

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आक्रोश इतना कि घंटों शव खोजती रही पुलिस

चिरैयाकोट थाना क्षेत्र के असलपुर गांव में सेना भर्ती के लिए दौड़ रहे युवक की गोली मारकर की गई हत्या के बाद लोगों में आक्रोश फैल गया। आक्रोश इतना तीव्र था की हत्या के 3 घंटे बाद तक भी पुलिस शव तक नहीं पहुंच सकी थी। कई थानों की फोर्स पहुंचने के बाद खुद पुलिस अधीक्षक सुशील घुले गांव में जमे रहे। बावजूद इसके गुस्साई ग्रामीणों की भीड़ टस से मस होने का नाम नहीं ले रही थी।

पूरा घटनाक्रम एक वर्ष पूर्व 8 सितंबर 2019 को दिनदहाड़े भरी पंचायत में हुए प्रधान मुन्ना राव बागी हत्याकांड से जुड़ा हुआ है। मृतक अरविंद का चाचा शंभू राम, प्रधान हत्याकांड में गवाह है। उस हत्याकांड का आरोप जिस राहुल सिंह पर लगा था वह मुख्य आरोपित आज भी पुलिस की पकड़ से बाहर है। हत्याकांड में सात लोगों को नामजद किया गया था जिसमें छह की गिरफ्तारी हो चुकी थी। मंगलवार की घटना में अरविंद की हत्या के बाद से उसके साथ दौड़ रहे अमन व अभिषेक नामक दो युवकों के गायब होने के कारण भी अफवाहों का बाजार देर रात तक गर्म रहा। अनुसूचित बस्ती के लोगों में युवक की हत्या के बाद उबाल का आलम यह रहा कि दूसरी जाति की बस्ती के लोग अपने घरों में कैद रहने को विवश हो गए। इधर आक्रोशित भीड़ ने लोगों के घरों पर पथराव किया, पुलिस की जीप और बाइक फूंक दी, पुआल के ढेर में आग लगा दी।

घटनाक्रम की सूचना मिलने पर चिरैयाकोट, रानीपुर, मोहम्मदाबाद गोहना थानों की पुलिस वहां पहुंच गई। क्षेत्राधिकारी नंदलाल और पुलिस अधीक्षक सुशील घुले भी मौके पर डटे रहे। काफी प्रयासों व समझाने बुझाने के बाद बवाल तो थम गया मगर की भीड़ का गुस्सा बरकरार रहा। गांव वालों ने मृतक का शव अपने कब्जे में ले रखा था । रात के 11:30 बजे तक पुलिस शव को कब्जे में लेने के लिए लोगों से बात करती रही मगर गुस्साई भीड़ हमलावरों की तत्काल गिरफ्तारी पर पड़ी रही।


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