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सड़कों की खस्ता हालत ने बढ़ाई मुसीबत

कोरोना को लेकर चल रहे भय में सडकों की बुरी हालत कई क्षेत्रों के लिए मुसीबत बन सकती है। लगातार प्रवासी मजदूरों के हो रहे आगमन को देखते हुए चिता का ग्राफ तेजी से बढ़ रहा है।

By JagranEdited By: Published: Sun, 17 May 2020 08:19 PM (IST)Updated: Mon, 18 May 2020 06:11 AM (IST)
सड़कों की खस्ता हालत ने बढ़ाई मुसीबत
सड़कों की खस्ता हालत ने बढ़ाई मुसीबत

जागरण संवाददाता, ओबरा (सोनभद्र) : कोरोना को लेकर चल रहे भय में सड़कों की बुरी हालत कई क्षेत्रों के लिए मुसीबत बन सकती है। लगातार प्रवासी मजदूरों के हो रहे आगमन को देखते हुए चिता बढ़ रही है। रेणुकापार के 40 से ज्यादा टोलों में मजदूरों की आमद हुई है। इनमें दर्जनों दुर्गम टोले ऐसे हैं जहां तक जाने वाली सड़कों की हालत काफी खस्ता है। ऐसे में इन टोलों तक आपातकालीन सेवाओं के नहीं पहुंच पाने को देखते हुए चिता की स्थिति है। पिछले एक पखवाड़े के दौरान केवल प्रवासी मजदूरों के कारण कई जनपद ग्रीन जोन से ऑरेंज या रेड जोन में तब्दील हो गया। एक पखवाड़े के दौरान केवल रेणुकापार में 300 के करीब मजदूर वापस आए हैं। इसके कारण कोरोना संक्रमित मरीज के सामने आने से इन्कार नहीं किया जा सकता है। लेकिन सड़कों की खराबी के कारण संक्रमित मजदूरों तक पहुंचना संभव नहीं होगा। एक मार्ग ने खराब की किस्मत रेणुकापार के बड़े क्षेत्रों तक आपातकालीन सेवाएं पिछले कई वर्षों से नहीं पहुंच पा रही है तो इसमें एक प्रमुख मार्ग की जर्जर हालत सबसे बड़ा कारण है। जो स्थान जनपद के लिए वाराणसी-शक्तिनगर मार्ग रखता है वैसा ही महत्व इस क्षेत्र के लिए कड़िया-परसोई मार्ग का है। यह मार्ग लगभग दो लाख की आबादी के लिए काफी महत्वपूर्ण है। रोजाना इस मार्ग से हजारों लोगों का आना जाना है लेकिन इसकी हालत खतरनाक हो गयी है। पिछले कई मानसून सत्र में भारी क्षति झेल चुके कड़िया-परसोई मार्ग को लेकर बरती गई लापरवाही के कारण यह मार्ग सरकारी एम्बुलेंस सेवा के लिए लक्ष्मण रेखा साबित हुआ है। रेणुकापार के दक्षिणी हिस्से का मुख्य द्वार कहे जाने वाले कड़िया तिराहे से शुरू होने वाला मार्ग मात्र 50 मीटर बाद ही जर्जरता का शिकार है इसलिए एम्बुलेंस वाले कड़िया तिराहे से आगे नहीं जाते हैं। जिसके कारण 40 से ज्यादा टोलों के लिए एम्बुलेंस सेवा फिलहाल पूरी तरह विफल है। ऐसा नही है कि प्रशासन को इसकी खबर नहीं है। कई सरकारी विभाग से जुड़े लोग रोजाना इस मार्ग से गुजरते हैं लेकिन, संवेदनहीनता पूरे चरम पर है। पहुंचना होगा मुश्किल

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कड़िया-परसोई मार्ग की जर्जरता के कारण रेणुकापार के कई टोलों तक एम्बुलेंस सेवा फिलहाल बंद है। रेणुकापार के पनारी ग्राम पंचायत के आकाशपानी, चंचलिया, गोसारी, अमिरनिया, पल्सो, खाडर, जुर्रा, अमश्रोता, धनबहवा, कर्री, औराडांड़, चोरपानिया, अदराकुदर, खैराही, फाफराकुंड, करमसार, भोड़ार, बकिया, घुमताहवा, परसोई ग्राम पंचायत के गाड़ापाथर, खैरेटिया, जमसोती, बोदरा, कबरौल, कजुआरी, दसहवां, डोफ, खटिहवां सहित कन्हरा व बैरपुर के दर्जनों टोलों तक आपातकालीन सेवा बंद हालत में है।


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