फास्ट टैग नहीं अपनाया, 'मजबूरी' को तड़पाया
तीस फीसद वाहनों के फास्ट टैग नहीं बन सके हैं।
सीतापुर : हाईवे पर टोल टैक्स में वाहनों को फास्ट टैग की सुविधा है लेकिन, काफी वाहन स्वामी अभी इस सुविधा से दूरी बनाए हुए हैं। कुछ तो ऐसे लोग हैं, जिन्होंने शुरुआत में फास्ट टैग ले लिया फिर उसको रीचार्ज नहीं कराया। फास्ट टैग से लोगों की यह दूरी आमजन की परेशानी का सबब बन रही है। सोमवार को खैराबाद टोलप्लाजा पर इमरजेंसी लेन बंद होने की वजह से एंबुलेंस भी काफी देर तक फंसी रही।
वाहन चालक या स्वामी से टोल कर्मियों झगड़ते हैं। इस विवाद में लेन में पीछे खड़े वाहनों को भी दिक्कत होती है। कभी-कभी तो इसी विवाद में टोल प्लाजा पर वाहनों की लंबी लाइनें लग जाती हैं। टोल कर्मी बताते हैं कि कुछ वाहन सवार तो ऐसे होते हैं कि वह फास्ट टैग की लेन में आ गए और टोल दोगुना देने की बात पर पॉवर दिखाते हैं। मारपीट करने तक की धमकी देते हैं। वैसे यदि फास्ट टैग है और वह रिचार्ज है तो 10 से अधिक चक्के वाले (मल्टी एक्सल) भारी वाहनों को 245 रुपये टोल टैक्स लगता है। यदि फास्ट टैग नहीं है या रिचार्ज नहीं है तो 245 की जगह 490 रुपये अदा करने होते हैं।
खैराबाद टोल प्लाजा पर व्यवस्था
कुल 12 लेन हैं। दोनों साइड की अंतिम लेन इमरजेंसी सेवा के लिए है। चार नंबर की लेन पर टोल कैश लिया जा रहा है। पांच व छह नंबर की लेन बाधित है, कार्य चल रहा है।
फास्ट टैग सुविधा
30 प्रतिशत वाहनों के फास्ट टैग नहीं बने हैं।
10 प्रतिशत ऐसे लोग हैं जो रिचॉर्ज नहीं कराए हैं।
70 प्रतिशत वाहनों में फास्ट टैग लग चुके हैं।
10 हजार औसतन वाहन हर रोज टोल प्लाजा को क्रॉस करते हैं।
10 प्रतिशत मामले हर रोज फास्ट टैग रिचार्ज न होने के आ जाते हैं।
वर्जन--
फास्ट टैग की सुविधा के फायदे हैं, पर 30 प्रतिशत ऐसे वाहन स्वामी हैं जो अभी तक इस सुविधा का प्रयोग नहीं कर रहे हैं। हालांकि इसमें उन्हें को नुकसान है। कुछ ऐसे भी हैं जिन्होंने फास्ट टैग लिया, दोबारा रिचार्ज नहीं कराया। दोगुने टोल की बात पर ही वाहन स्वामी कर्मियों से विवाद करते हैं।
- अंकेश श्रीवास्तव, प्रबंधक-टोल प्लाजा खैराबाद