मौलानाओं ने मांगी माफी, वापस लिया गया तुगलकी फरमान
इबादतगाह भी जा सकता है परिवार और लोग भी रख सकेंगे संबंध अवैध संबंध का आरोप लगा परिवार का किया था हुक्का-पानी बंद
सीतापुर : अवैध संबंध का आरोप मढ़ परिवार का हुक्का-पानी बंद करने वाले मौलानाओं ने पीड़ित से माफी मांग ली है। सदरपुर थाने में सुलह समझौते के बाद तुगलकी फरमान वापस ले लिया गया है। अब पीड़ित परिवार इबादतगाह भी जा सकता है और बिरादरी के अन्य लोग भी उससे संबंध रख सकते हैं।
सदरपुर के कोठिला गांव में रहने वाली युवती ने थाने में दी तहरीर में कहा था कि वह नाराज होकर अपनी बुआ के घर गई थी। दो दिन बाद मां व भाई उसे वापस ले आए थे। गांव के ही दो मौलानाओं ने भाई के साथ अवैध संबंध का आरोप लगाकर उसके पिता व भाई का हुक्का-पानी बंद कर दिया था। बिरादरी की पंचायत के इस फतवे की लिखापढ़ी भी की गई। उसके परिवार का धार्मिक स्थलों पर जाने से प्रतिबंधित किया गया। यह भी कहा गया कि अगर बिरादरी का कोई परिवार उनसे संबंध रखेगा तो 10 हजार रुपये का जुर्माना भरना पड़ेगा।
मौलानाओं ने घर आकर चाय पीने का किया वादा
पीड़ित युवती के पिता ने बताया कि करीब 10 दिन बाद सुलह-समझौता हुआ है। थाने पर मौलानाओं ने माफी मांगी। खुद ही सबसे पहले घर आकर चाय पीने का वादा किया। बिरादरी के अन्य लोगों को भी उसके परिवार से मेल-मिलाप करने को कहेंगे, इसका आश्वासन दिया।
लिखित समझौते पर कराए गए हस्ताक्षर
थाने पर कराए गए समझौते पर युवती व उसके परिवारजन के अलावा मौलानाओं व अन्य के हस्ताक्षर भी कराए गए। पूर्व के फरमान को वापस लेते हुए माफी मांगने की बात भी लिखी गई। लिखा गया कि गांव के सभी लोग परिवार से ताल्लुक रख सकते हैं।
हुक्का-पानी बंद करने वाले मौलानाओं पर केस दर्ज किया गया। पीड़ित परिवार से माफी मांगी है। सुलह-समझौते के बाद मौलाना पीड़ित के घर भी गए। भविष्य में इस तरह की बात न होने का आश्वासन दिया है।
- एनपी सिंह, एएसपी दक्षिणी