शिव की उपासना से कट जाएंगे कष्ट
श्रावण माह में भगवान शिव की अपने भक्तों पर विशेष कृपा रहती है। शिव पूजा में बहुत सी ऐसी चीजें अर्पित की जाती हैं जो अन्य किसी देवता को नहीं चढ़ाई जाती। इसी तरह शिव पूजा में कई ऐसी चीजें होती हैं जो आपकी पूजा का फल देने की बजाए आपको नुकसान पहुंचा सकती हैं।
सिद्धार्थनगर: श्रावण माह में भगवान शिव की अपने भक्तों पर विशेष कृपा रहती है। शिव पूजा में बहुत सी ऐसी चीजें अर्पित की जाती हैं, जो अन्य किसी देवता को नहीं चढ़ाई जाती। इसी तरह शिव पूजा में कई ऐसी चीजें होती हैं, जो आपकी पूजा का फल देने की बजाए आपको नुकसान पहुंचा सकती हैं। इसमें हल्दी है। शास्त्रों के अनुसार शिवलिग पुरुषत्व का प्रतीक है। इसी वजह से महादेव को हल्दी नहीं चढ़ाई जाती। शिव को कनेर और कमल के अलावा लाल रंग के फूल प्रिय नहीं हैं। शंख भगवान विष्णु को बहुत ही प्रिय है, लेकिन शिव ने शंखचूर नामक असुर का वध किया था, इसलिए शंख उनकी पूजा में वर्जित माना गया है। नारियल पानी से भगवान शिव का अभिषेक नहीं करना चाहिए। नारियल को लक्ष्मी का स्वरूप माना जाता है। तुलसी का पत्ता भी भगवान शिव को नहीं चढ़ाना चाहिए। भोलेनाथ को प्रसन्न करने के लिए जल, दूध, दही, शहद, घी, चीनी, इत्र, चंदन, केसर, भांग,धतूर इन सभी चीजों को एक साथ या एक-एक शिवलिग पर चढ़ा सकते हैं। शिवपुराण में बताया गया है कि इन चीजों से शिवलिग को स्नान कराने पर सभी इच्छाएं पूरी होती हैं। इस वर्ष के सावन मास का एक-एक दिन अछ्वुत दुर्लभ संयोग से युक्त है। ऐसे में भगवान शिवजी का थोड़ा सा किया गया पूजन-अर्चन भक्तों को मनोवांछित फल प्रदान करने वाला होगा। इस बार सोमवार से श्रावण माह का शुरुआत होना मंगलमय साबित होगा। देवाधिदेव महादेव बिष का नास करेंगे पूरे विश्व से महामारी भी दूर करेंगे।
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जय मां वैष्णो देवी ज्योतिष तंत्र अनुसंधान एवं परामर्श के आचार्य योगेश पांडेय