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फौजी के गांव में छाया मातम, नहीं जले चूल्हे

शाहजहांपुर : पिथौरागढ़ में खाई में गिरने से जवान गुरजीत ¨सह का पार्थिव शरीर देर शाम तक घर नहीं पहुंच

By JagranEdited By: Published: Sat, 26 May 2018 12:53 AM (IST)Updated: Sat, 26 May 2018 12:53 AM (IST)
फौजी के गांव में छाया मातम, नहीं जले चूल्हे
फौजी के गांव में छाया मातम, नहीं जले चूल्हे

शाहजहांपुर : पिथौरागढ़ में खाई में गिरने से जवान गुरजीत ¨सह का पार्थिव शरीर देर शाम तक घर नहीं पहुंचा है। परिजनों के मुताबिक शव देर रात पहुंचने की संभावना है। सुबह से ही फौजी के घर लोगों का तांता लगा हुआ है। पूरे गांव में मातम का माहौल हैं। गांव के किसी भी घर में चूल्हे नहीं जले हैं। प्रशासनिक अधिकारी के साथ-साथ नेता परिवार को सांत्वना देने घर पहुंचे। परिवार समेत गांव के सभी लोग शव का इंतजार कर रहे हैं।

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क्षेत्र के गांव पुनौती निवासी बलवीर ¨सह के 26 वर्षीय पुत्र गुरजीत ¨सह 10वीं सिख रेजीमेंट की 10वीं बटालियन में तैनात थे। गुरुवार को पिथौरागढ़ में डीडीहाट के चरमा क्षेत्र में काम कर रहे थे। इस दौरान पैर फिसलने से वह खाई में गिर गए थे। जिसमें उनकी मौत हो गई थी। उनकी मौत की सूचना लगते ही घर में मातम छा गया। पत्नी मंदीप कौर और मां सुरजीत कौर का रो-रोककर बुरा हाल है। परिवार के सदस्य गुरजीत के शव का इंतजार कर रहे हैं।

प्रशासनिक अधिकारी और नेताओं ने दी सांत्वना

शुक्रवार की सुबह एसडीएम मोईनउल इस्लाम टीम के साथ गुरजीत के घर पहुंच गए। उन्होंने गुरजीत के पिता बलवीर ¨सह को सांत्वना देते हुए प्रशासन की तरफ से हर सहायता देने का आश्वासन दिया। इसके साथ ही भाजपा विधायक चेतराम, भाजपा नेता सत्यभान ¨सह भदौरिया, रजनीश दीक्षित, पूर्व ब्लाक प्रमुख सुरजनलाल ने गुरजीत के परिजनों को सांत्वना दी।

भाई ने बैंक की तैयारी छोड़कर जाने का किया फैसला

गुरजीत ¨सह के भाई गुरप्रीत ¨सह इन दिनों बैंक की तैयारी कर रहे थे। लेकिन भाई की मौत के बाद उसने फैसला किया है कि वह सेना में जाकर देश की रक्षा करेगा। गुरजीत ने बताया कि उनका भाई बीती 12 फरवरी को छुट्टी पर आया था। 16 मार्च को वह जब वापस जा रहा था तो वह उसे स्टेशन छोड़ने आया था। तब भाई ने उसे चार खाली चेक दिए थे और कहा था कि रुपये की जरूरत हो तो उसके खाते से निकाल लेना, लेकिन मां-पिता को बिल्कुल परेशान नहीं करना। उनका ध्यान रखना और उनकी हर बात मानना। अगर कोई दिक्कत हो तो हमकों बताना। भाई और पिता को गुरजीत की मौत पर गर्व है।

शनिवार को होगा अंतिम संस्कार

गुरप्रीत का पार्थिव शरीर रात करीब दस बजे घर पहुंचने की संभावना है। पहले उत्तराखंड से सलामी के लिए गार्द आने वाली थी। लेकिन बाद में वहां के अधिकारियों ने शाहजहांपुर के सेना अधिकारियों से बात कर ली हैं। यहां जवान गुरजीत के पार्थिव शरीर को अंतिम सलामी देंगे। अंतिम संस्कार सुबह आठ बजे किया जाएगा।

गांव में पसरा सन्नाटा नहीं जले चूल्हे

गुरजीत की मौत की खबर के बाद पूरे गांव में सन्नाटा छा गया है। गांव में किसी भी परिवार में चूल्हे नहीं जले हैं। पूरे गांव में मातम का माहौल है। गांव के ज्यादातर लोग गुरजीत के घर आसपास ही मौजूद हैं।


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