अवैध पटाखा फैक्ट्री उजाड़ रही फसलें, अफसरों ने मूंदी आंखें
कुतुबशेर थानाक्षेत्र के गांव हलालपुर के किसानों की फसलें एक पटाखा फैक्ट्री के कारण उजड़ रही है। यहां के किसानों ने कई बार जिला प्रशासन और पुलिस को शिकायत कर दी लेकिन पटाखा फैक्ट्री मालिक के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हो रही है। हैरत यह कि यहां पर पटाखा फैक्ट्री का लाइसेंस तक नहीं लिया गया है। वहीं प्रदूषण विभाग भी फैक्ट्री पर कार्रवाई नहीं कर रहा है। ग्रामीणों का कहना है कि फैक्ट्री चलती रही तो वह दिन दूर नहीं जब फैक्ट्री के आसपास गांवों के ग्रामीणों में बीमारी भी फैल जाएगी।
सहारनपुर, जेएनएन। कुतुबशेर थानाक्षेत्र के गांव हलालपुर के किसानों की फसलें एक पटाखा फैक्ट्री के कारण उजड़ रही है। यहां के किसानों ने कई बार जिला प्रशासन और पुलिस को शिकायत कर दी, लेकिन पटाखा फैक्ट्री मालिक के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हो रही है। हैरत यह कि यहां पर पटाखा फैक्ट्री का लाइसेंस तक नहीं लिया गया है। वहीं, प्रदूषण विभाग भी फैक्ट्री पर कार्रवाई नहीं कर रहा है। ग्रामीणों का कहना है कि फैक्ट्री चलती रही तो वह दिन दूर नहीं, जब फैक्ट्री के आसपास गांवों के ग्रामीणों में बीमारी भी फैल जाएगी।
गांव हलालपुर निवासी वासू उर्फ अमन पुत्र मोहर सिंह और विनोद कुमार पुत्र राजेंद्र पाल दोनों किसान है। उन्होंने बताया कि उनकी जमीन गांव दरा अली व रामगढ़ के समीप है। इस जमीन पर दोनों किसानों ने धान की फसल वर्तमान में उगाई हुई है। आरोप है कि उनके खेतों के समीप चोरी छिपे एक पटाखा फैक्ट्री चलती है। इस पटाखा फैक्ट्री में से निकलने वाला जहरीला पानी उनके खेतों में जाता है। जिससे उनकी फसलें खराब हो रही है। इसके अलावा फैक्ट्री से पटाखा बनाने के बाद जो अवशेष निकलते हैं। उन्हें उनके खेतों की बराबर में जलाया जाता है। जिससे निकलने वाले धुएं से धान की फसल बर्बाद पूरी तरह से बर्बाद हो चुकी है। आरोप है कि जहरीले धुएं के कारण गांवों के महिलाएं और बच्चे भी बीमार हो रहे हैं। वहीं, फैक्ट्री के कारण प्रदूषण भी बड़े पैमाने पर हो रहा है। आरोप है कि पुलिस से लेकर प्रदूषण विभाग तक के अधिकारियों ने आंखें मूंदी हुई है। दोनों किसानों ने कुतुबशेर थाना पुलिस को तहरीर देकर बताया है कि उनकी लाखों रुपये की कीमत की फसल बर्बाद हो चुकी है। एसपी सिटी राजेश कुमार ने बताया कि पहले फैक्ट्री पर पहुंचकर मामले की जांच की जाएगी। इसके बाद प्रदूषण विभाग, स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के साथ फैक्ट्री पर छापा मारा जाएगा।