घोसियान प्रकरण में आजम खां की जमानत खारिज
मकान खाली कराने के मामले में दर्ज हुए थे मुकदमे
जागरण संवाददाता, रामपुर : मुहल्ला घोसियान यतीमखाना बस्ती खाली कराने के एक मुकदमे में सांसद आजम खां की अग्रिम जमानत अर्जी जिला जज के न्यायालय से खारिज हो गई है। इस मुकदमे में सांसद पर मकान जबरन खाली कराने, लूटपाट, मारपीट, तोड़फोड़ और गैर इरादतन हत्या का भी आरोप है। करीब एक माह पहले सांसद के खिलाफ बस्ती के लोगों ने शहर कोतवाली में मुकदमे कराए थे। इन मुकदमों में आरोप है कि सपा शासनकाल में पुलिस ने जबरन उनके मकानों को खाली करा लिया था। 15 अक्टूबर 2016 को पुलिस और उनके साथ आए सपाइयों ने लोगों को धमकाकर बताया था कि यह जगह आजम खां ने ले ली है। यहां रामपुर पब्लिक स्कूल बनेगा। सालों से रहने वाले लोगों ने जब वक्फ के किरायेदारी से संबंधित कागजात दिखाए तो उन्हें छीनकर फाड़ दिया। इसके बाद पुलिस ने जबरन यहां रहने वालों को घरों से निकाल दिया। उनके साथ मारपीट की। सामान तोड़ दिया। जेवर, नकदी आदि लूट लिया। उनकी भैंसें, बकरी आदि जानवर भी यह कहकर ले गए कि इन्हें सांसद के तबेले में रखा जाएगा। पुलिस ने इन मुकदमों में पूर्व सीओ सिटी आले हसन खां समेत पुलिस कर्मियों और सपाइयों के खिलाफ मुकदमे दर्ज किए थे। इन मुकदमों में सांसद को भी नामजद किया था। ऐसा ही एक मुकदमा जाकिर अली की शिकायत पर हुआ था। उनका कहना था कि उनकी बुजुर्ग मां से भी अभद्रता की थी। उन्हें धक्का दिया था। इससे उनके चोट आई थी। बाद में इलाज के दौरान मां की मौत हो गई थी। उनके मुकदमे में पुलिस ने नामजद आरोपितों पर गैर इरादतन हत्या की धारा भी जोड़ी थी। इसी मुकदमे में गिरफ्तारी से बचने को सांसद ने अपने अधिवक्ता के माध्यम से जिला जज के न्यायालय में अग्रिम जमानत अर्जी दाखिल थी। जिला शासकीय अधिवक्ता फौजदारी दलविदर सिंह डम्पी ने बताया कि न्यायालय ने सपा सांसद की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी है।