पंचायत राज और शिक्षा विभाग मतदान केंद्रों की खामियों को करेंगे दूर
पेयजल बिजली तो कहीं पर शौचालय की व्यवस्था नहीं।
रायबरेली : पेयजल, बिजली तो कहीं पर शौचालय की व्यवस्था नहीं। मतदेय स्थलों पर ऐसी तमाम खामियों को दूर कराया जाना है। इसके लिए लगातार सत्यापन कराया जा रहा है। डीएम ने सत्यापन के दौरान मिलने वाली खामियों को दूर करने के निर्देश दिए हैं। इस संबंध में जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी ने जिला पंचायत राज विभाग को पत्र भेज दिया है।
विधानसभा चुनाव को लेकर प्रशासनिक तैयारियां जोरो पर है। मतदान केंद्र और बूथ में बेहतर व्यवस्था हो इसका विशेष ख्याल रखा जा रहा है। इसी लिहाज से डीएम के निर्देश पर एसडीएम अपने-अपने क्षेत्रों में मतदेय स्थलों का लगातार सत्यापन कर रहे हैं। परिषदीय विद्यालयों में बने मतदेय स्थलों की खामियों की रिपोर्ट बीएसए कार्यालय भेज रहे हैं। उनके आंकड़ों में कई ऐसे विद्यालय हैं, जहां पर संसाधनों का टोटा है। कई जगह तो पेयजल की दिक्कत है। ऐसे में निर्धारित समय में सभी खामियों को दूर करना अफसरों के लिए किसी चुनौती से कम नहीं है। बीएसए ने डीपीआरओ को पत्र जारी किया है। ऐसे में दोनों विभाग मिलकर इन खामियों को दूर करेंगे।
परिषदीय विद्यालयों में बने मतदेय स्थलों पर एक नजर 1319 - परिषदीय विद्यालयों में बने मतदेय स्थल
2005 - परिषदीय विद्यालयों में बने बूथ
06 - पेयजल समस्या वाले विद्यालय
24 - रैंप और रेलिग से असंतृप्त विद्यालय
21 - शौचालय से असंतृप्त विद्यालय
55 - विद्युत संयोजन से असंतृप्त विद्यालय
77 - फर्नीचर से असंतृप्त विद्यालय परिषदीय विद्यालयों में बने मतदेय स्थलों का सत्यापन चल रहा है। खामियों को जिला पंचायत राज विभाग के साथ मिलकर दूर कराया जायेगा। निर्धारित समय पर कार्य को पूरा कर लिया जायेगा। शिवेंद्र प्रताप सिंह, जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी लेखपाल करेंगे महिला टोलियों का सहयोग मतदाताओं को जागरूक करने के लिए लगाई गईं महिला टोलियों का सहयोग क्षेत्रीय लेखपाल भी करेंगे। यह निर्देश अतिरिक्त मजिस्ट्रेट की ओर से जारी किए गए हैं।
ब्लाक में बैठक के दौरान अतिरिक्त मजिस्ट्रेट सदर जीतलाल सैनी ने लेखपालों से कहा कि ज्यादा से ज्यादा मतदान के लिए गांवों में महिला टोलियां बनाई गईं हैं। इसमें मीना मंच की शिक्षिका, स्वयं सहायता समूह की महिलाओं, कोटेदार व गैर राजनैतिक लोगों को जोड़ा गया है। वह घर-घर जाकर लोगों को प्रेरित करेंगे। लेखपालों की जिम्मेदारी होगी कि वह टीम के सदस्यों की मदद करें। प्रत्येक बूथ पर 70 प्रतिशत से अधिक मतदान होना चाहिए। लेखपाल महेंद्र सिंह, उमाकांत तिवारी, आशीष सिंह, अमर सिंह, अमित मौजूद रहे।