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डरकर नहीं लड़कर करें कोरोना का सामना

वर्तमान समय मे कोरोना संक्रमण से मानव जाति परेशानी में है। भारत में इस संक्रमण के कारण अनेकों लोगों को अपनी जान से हाथ धोने पड़ गए हैं। ऐसे में हमें जरूरत हैं तो सकारात्मक दृष्टिकोण के साथ इस संक्रमण से लड़ने की। क्योंकि किसी भी मुसीबत का अंत उसका दृढ़ता से सामना करके ही किया जा सकता है। इसमें खानपान और योग का बड़ा महत्व है।

By JagranEdited By: Published: Thu, 13 May 2021 11:29 PM (IST)Updated: Thu, 13 May 2021 11:29 PM (IST)
डरकर नहीं लड़कर करें कोरोना का सामना
डरकर नहीं लड़कर करें कोरोना का सामना

जेएनएन, मुजफ्फरनगर। वर्तमान समय मे कोरोना संक्रमण से मानव जाति परेशानी में है। भारत में इस संक्रमण के कारण अनेकों लोगों को अपनी जान से हाथ धोने पड़ गए हैं। ऐसे में हमें जरूरत हैं तो सकारात्मक दृष्टिकोण के साथ इस संक्रमण से लड़ने की। क्योंकि किसी भी मुसीबत का अंत उसका दृढ़ता से सामना करके ही किया जा सकता है। इसमें खानपान और योग का बड़ा महत्व है।

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शहर के पंचमुखी निवासी एवं निजी डिग्री कालेज में योग के सहायक प्राचार्य मयंक भारद्वाज का कहना है कि हम इस कोरोना संक्रमण का दृढ़ता से सामना कर सकते हैं। सर्वप्रथम कोरोना से पीड़ित व्यक्ति को पर्याप्त नींद लेनी चाहिए तथा एयरकंडीशन का उपयोग करने से बचना चाहिए। सोने का कमरा हवादार होना चाहिए। यदि अनिद्रा की समस्या हो तो सोते समय हल्की गहरी सांसों पर ध्यान लगाएं और महसूस करें कि प्रत्येक आने वाली सांस मुझे निरोगता और सकारात्मक ऊर्जा प्रदान कर रही है। वहीं प्रत्येक जाती हुई सांस मेरे नकारात्मक विचारों तथा रोग के कणों को मुझसे दूर कर रही है। इसके अतिरिक्त रोगी व्यक्ति हल्की एक्सरसाइज या कुछ योगासन कर सकते हैं, जिसमें हस्तउत्तानासन, भुजंगासन, मत्स्यासन, उष्ट्रासन आदि अपनी शारीरिक क्षमता के अनुसार कर सकते हैं, लेकिन यदि बुखार के कारण शारीरिक कमजोरी है तो कृपया किसी भी प्रकार का व्यायाम या आसन न करें। शारीरिक कमजोरी को दूर करने के लिए रात को तीन से चार देसी बादाम, दो अखरोट की गिरी, 10-12 भूरी किशमिश कांच के पात्र में पानी में भिगो दें तथा सुबह में हल्दी वाले दूध के साथ बादाम (छिलका उतारकर), अखरोट तथा किशमिश को खूब चबा चबाकर सेवन करें। प्राणायाम (अनुलोम विलोम, उद्गीत, भस्त्रिका- मध्यम गति से), कपालभाति क्रिया का अभ्यास भी अपनी क्षमता के अनुसार करना लाभप्रद होगा। भाप लेना फेफड़ों के लिए सैनिटाइजर की भांति कार्य करता है। भाप लेने के पानी में थोड़ी मात्रा में हल्दी, थोड़ा कपूर, थोड़ा अजवायन डालकर पीड़ित व्यक्ति को दिन में चार से पांच बार भाप लेनी चाहिए। इसके अतिरिक्त शोधों के अनुसार बताया गया है कि शुद्ध दाल चीनी का संतुलित मात्रा में सेवन भी कोरोना वायरस से लड़ने में हमें पर्याप्त ऊर्जा प्रदान करने के साथ शुगर की समस्या मे भी लाभ पहुंचता है तथा खून को भी पतला भी करता हैं, जिससे खून का थक्का जमने की समस्या भी दूर होती है। दो कली लहसुन तथा एक छोटा टुकड़ा अदरक को एक मिनट तक चबा कर गर्म पानी का सेवन करने से गले की खराश में काफी राहत का अनुभव होता हैं। अपने आहार में हरी सब्जियों, सूप तथा फलों को पर्याप्त मात्रा में शामिल करने के साथ पीने के लिए गर्म पानी का सेवन करना स्वास्थ्य की दृष्टि से अच्छा होगा। इनका पालन करने से मनुष्य को कोरोना संक्रमण से बचने में ताकत मिलेगी। रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ेगी।


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