स्वास्थ्य विभाग के स्टाक में वैक्सीन की 15690 डोज
कोरोनारोधी टीके की किल्लत लगातार चल रही है। कमी के चलते स्वास्थ्य विभाग ने पहले से ही रविवार को टीकाकरण बंद किया हुआ है। वर्तमान में स्वास्थ्य विभाग के स्टाक में 15690 डोज हैं। इनमें 8900 कोवीशील्ड तथा 6790 कोवैक्सीन की डोज शामिल है।
मुजफ्फरनगर, जागरण टीम। कोरोनारोधी टीके की किल्लत लगातार चल रही है। कमी के चलते स्वास्थ्य विभाग ने पहले से ही रविवार को टीकाकरण बंद किया हुआ है। वर्तमान में स्वास्थ्य विभाग के स्टाक में 15690 डोज हैं। इनमें 8900 कोवीशील्ड तथा 6790 कोवैक्सीन की डोज शामिल है।
कोरोना वायरस संक्रमण के चलते लोगों में दहशत का माहौल है। शासन स्तर पर लोगों को कोरोनारोधी टीका लगवाने के लिए जागरूक किया जा रहा है। सीएमओ डा. एमएस फौजदार ने बताया कि लोगों को एक-दूसरे से कम से कम छह फिट कि शारीरिक दूरी बनाकर रखने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। मास्क के प्रयोग पर जोर है तथा बार-बार साबुन से अच्छे तरीके से हाथ धोने को भी कहा जा रहा है। सीएमओ ने बताया कि शासन स्तर से ही कोरोनारोधी टीके की कमी चल रही है। इसके चलते टीकाकरण सत्र घटाए गए थे और रविवार को भी अब टीकाकरण नहीं किया जा रहा है। सोमवार को भी चुनाव के मद्देनजर टीकाकरण नहीं होगा। उन्होंने बताया कि स्वास्थ्य विभाग के पास इस समय 8900 कोवीशील्ड तथा 6790 कोवैक्सीन की डोज उपलब्ध है। बताया कि 3200 कोवैक्सीन डोज प्राइवेट हास्पिटल्स को दी गई हैं। सरकारी स्वास्थ्य केंद्र पर कोवैक्सीन की दूसरी डोज लगाने के लिए 6790 कोवैक्सीन डोज स्टाक में मौजूद हैं। 25 अप्रैल के बाद कोवैक्सीन की दूसरी डोज लोगों को लगनी है। सरकारी स्टाक में रेमडेसिविर के 85 इंजेक्शन
कोरोना वायरस संक्रमित मरीजों के उपचार के लिए रेमडेसिविर इंजेक्शन काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है। चिकित्सकों के अनुसार कोविड-19 पाजिटिव मरीज को निमोनिया की शिकायत में इस इंजेक्शन की आवश्यकता अधिक होती है। जिला औषधि निरीक्षक लवकुश प्रसाद ने बताया कि इंजेक्शन की एक्सपायरी निर्माण से केवल तीन माह है। बताया कि मार्च माह तक इक्का-दुक्का ही कोविड-19 पाजिटिव मरीज सामने आ रहे थे, जिस कारण रेमडेसिविर इंजेक्शन की खपत घट गई थी। इस दौरान मार्केट में अधिकतर स्टाकिस्ट ने अपना स्टाक वापस कर दिया। संक्रमण बढ़ने के बाद मुजफ्फरनगर मेडिकल कालेज में यह इंजेक्शन मंगाया है। इस समय सरकारी स्टाक में 85 रेमडेसिविर इंजेक्शन हैं।