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Indian Railways : शहर के गंदे पानी से साफ होंगे रेलवे स्टेशन और कोच, नमामि गंगे परियोजना प्रबंधन ने भेजा पत्र

Railway water expenditure station cleanliness रेल मंडल के प्रमुख स्टेशनों पर पानी उपलब्ध कराया जाएगा। दूषित पानी को साफ करने के बाद भी उसे नदियों में बहाया नहीं जाएगा। मुरादाबाद रेल मंडल के कई रेलवे स्‍टेशनों पर इस पानी का पूरा प्रयोग क‍िया जाएगा।

By Narendra KumarEdited By: Published: Fri, 19 Feb 2021 01:11 PM (IST)Updated: Fri, 19 Feb 2021 01:11 PM (IST)
Indian Railways : शहर के गंदे पानी से साफ होंगे रेलवे स्टेशन और कोच, नमामि गंगे परियोजना प्रबंधन ने भेजा पत्र
नमामि गंगे परियोजना ने मंडल रेल प्रशासन को पत्र लिखा है।

मुरादाबाद [प्रदीप चौरसिया]। Railway water expenditure station cleanliness। शहर के गंदे पानी को शोधित करने के बाद उससे रेलवे स्टेशनों व कोचों की सफाई की जाएगी। इसके ल‍िए मंडल के 12 स्टेशनों का चयन किया गया है। नमामि गंगे परियोजना प्रबंधन के मंडल रेल प्रशासन को पत्र भेजकर इसके लिए कितने पानी की जरूरत होगी, इसकी जानकारी मांगी है। मंडल रेल प्रशासन इसकी रिपोर्ट तैयार करने में जुट गया है।

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नमामि गंगे परियोजना ने मंडल रेल प्रशासन को पत्र लिखा है, जिसमें कहा कि एनजीटी की गाइड लाइन के अनुसार नमामि गंगे परियोजना के तहत शहर से निकलने वाले गंदे पानी को शोधित करने के बाद उसे नदी में नहीं बहाया जाएगा। शोधित पानी को सिंचाई, बागवानी, सफाई जैसे काम में प्रयोग किया जाएगा। रेलवे द्वारा यात्रियों व कालोनी वासियों को पीने, स्नान करने के पानी के अलावा स्टेशनों की सफाई, कोच की धुलाई करने, बागवानी जैसे कार्य में यह पानी खर्च किया जाएगा। रेल प्रशासन को जानकारी दी गई है क‍ि नमामि गंगे परियोजना के तहत शोधित पानी रेल प्रशासन द्वारा प्वाइंट तक पहुंचेगा, रेलवे प्रशासन वहां से शोधित पानी को रेलवे स्टेशन कालोनी आदि स्थान तक ले जाने की व्यवस्था करेगा। इस पानी के द्वारा स्टेशनों की सफाई, कोच की धुलाई, बागवानी जैसे कार्य होंगे। यात्रियों को पीने, स्नान करने के लिए शुद्ध पानी रेल प्रशासन द्वारा पहले की तरह उपलब्ध कराएगा।

इन स्‍टेेेेेेशनों पर पानी पहूुुंचाने की तैयारी

नमामि गंगे के तहत मुरादाबाद रेल मंडल के मुरादाबाद, गढ़मुक्तेश्वर, बरेली, चन्दौसी, हरिद्वार, योगनगरी, ऋषिकेश, शाजहांपुर, हरदोई, अमरोहा, बिजनौर, बुलंदशहर स्टेशनों पर शोधित पानी पहुंचाने की योजना है। मंडल रेल प्रशासन से पूछा गया है कि किसी स्टेशनों पर सफाई आदि के लिए प्रतिदिन कितने शोधित पानी की आवश्यकता होती है।

एक यात्री पर 25 लीटर पानी का है मानक

रेलवे के मानक के अनुसार एक यात्री पर 25 लीटर पानी खर्च होता है। रेलवे ने यात्रियों की संख्या के अनुसार 25 लीटर प्रति यात्री पानी उपलब्ध कराने का मानक तय किया है। इसमें पीने, फ्रेश होने, स्नान करने, स्टेशन की सफाई, कोच की धुलाई, कोच में पानी भरना आदि शामिल है। उदाहरण के लिए मुरादाबाद स्टेशन पर प्रत्येक दिन औसत 50 लाख लीटर पानी रेल प्रशासन द्वारा उपलब्ध कराया जाता है। जिसमें 20 लाख लीटर पानी यात्रियों के पीने आदि पर खर्च होता है। सफाई, धुलाई पर 30 लाख लीटर पानी खर्च होता है।

मंडल रेल प्रबंधक तरुण प्रकाश ने बताया कि नमामि गंगे परियोजना के पत्र के आधार किस स्टेशन पर कितने शोधित पानी की आवश्यकता होगी, इसकी जानकारी एकत्रित कराई जा रही है। इसके ल‍िए रेलवे परिसर में शोधित पानी ले जाने के लिए पाइप लाइन डालने आदि पर कार्य योजना बनाई जा रही है।  

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