कभी सुरक्षा में चलता था पुलिस का काफिला अब रोज थाने में हाजिरी लगा रहे आजम Rampur News
पांच अक्टूबर को तो उनसे ढाई घंटे तक पूछताछ की गई। आजम खां के अलावा पुलिस उनकी बड़ी बहन उनके दोनों बेटे और पत्नी से भी पूछताछ कर चुकी है।
रामपुर(मुस्लेमीन)। समाजवादी पार्टी की सरकार में आजम खां का प्रदेशभर में रुतबा था। आठ विभागों के मंत्री और उनकी सुरक्षा में पुलिस की गाडिय़ों का काफिला चलता था लेकिन, अब उनकी सरकार नहीं है। पुलिस उन्हें दर्ज मुकदमों में रोज थाने बुला रहे हैं। आजम खां भी इस पूछताछ से आजिज आ गए हैं, कह रहे हैं कि पुलिस वाले रोज-रोज बुलाने के बजाए हमें थाने में ही रहने की इजाजत दे दें। हम यहीं पर टाट पट्टी डालकर रह लेंगे।
समाजवादी पार्टी के कद्दावर नेता सांसद आजम खां आजकल मुश्किल दौर से गुजर रहे हैं। उनकी इस परेशानी का सबब बनी है मोहम्मद अली जौहर यूनिवर्सिटी की जमीन। आजम खां इस यूनिवर्सिटी के संस्थापक है और चांसलर भी। यूनिवर्सिटी की जमीनों को लेकर विवाद है और यूनिवर्सिटी के लिए जमीन कब्जाने के आरोप में आजम खां के खिलाफ 30 मुकदमे दर्ज हो चुके हैं। यूनिवर्सिटी के पड़ोसी गांव आलियागंज के 26 किसानों ने भी उनके खिलाफ मुकदमे दर्ज कराए हैं। किसानों का आरोप है कि सपा शासनकाल में उनकी जमीन जबरन यूनिवर्सिटी में मिला ली गईं। इन मुकदमों की जांच पड़ताल पुलिस की स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (एसआइटी) कर रही है। अब यह टीम आजम खां से पूछताछ करने में लगी है। हांलाकि हाईकोर्ट ने इन मुकदमों में उनकी गिरफ्तारी पर रोक लगा दी है लेकिन, विवेचना जारी है। एसआइटी पूछताछ के लिए आजम खां को बार-बार महिला थाने बुला रही है। आजम खां सबसे पहले 30 सितंबर, उसके बाद दो अक्टूबर फिर चार और पांच अक्टूबर को थाने में बयान दर्ज कराने के लिए हाजिरी लगा चुके हैं।
आगे भी होगी पूछताछ
पुलिस अधीक्षक डॉक्टर अजय पाल शर्मा का कहना है कि सांसद पूछताछ के दौरान संतोषजनक जवाब नहीं दे रहे हैं। उनसे जमीन खरीदने के संबंध में अभिलेख मांगे जा रहे हैं तो वह भी नहीं उपलब्ध करा रहे हैं। कह रहे हैं कि अदालत में पेश करेंगे। मुकदमों की विवेचना जारी है। उनसे आगे भी पूछताछ की जाएगी।