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क्रय केंद्रों पर धान खरीद बंद, अब तौल से पहले किसानों को ये काम करना होगा जरूरी, जानें क्या है वो काम

Paddy Purchase in Rampur जिले में धान खरीद लगभग पूरी हो चुकी है। ज्यादातर क्रय केंद्र बंद हो चुके हैं। अब यदि कोई किसान धान तौल कराना चाहता है तो उसका सत्यापन किया जाएगा। इसके बाद ही धान की तौल होगी। पहली अक्टूबर से खरीद की जा रही है।

By Samanvay PandeyEdited By: Published: Thu, 20 Jan 2022 01:52 PM (IST)Updated: Thu, 20 Jan 2022 01:52 PM (IST)
लक्ष्य के सापेक्ष 2.62 लाख मीट्रिक टन धान की खरीद की जा चुकी है

रामपुर, जेएनएन। Paddy Purchase in Rampur : जिले में धान खरीद लगभग पूरी हो चुकी है। ज्यादातर क्रय केंद्र बंद हो चुके हैं। अब यदि कोई किसान धान तौल कराना चाहता है तो उसका सत्यापन किया जाएगा। इसके बाद ही धान की तौल होगी। प्रदेश में पहली अक्टूबर से धान खरीद की जा रही है। जिले में करीब तीन लाख मीट्रिक टन धान खरीद का लक्ष्य मिला है। लक्ष्य के सापेक्ष 2.62 लाख मीट्रिक टन धान की खरीद की जा चुकी है, जो लक्ष्य का 85.44 फीसद है। हालांकि खरीद का समय 31 जनवरी तक है।

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बावजूद इसके ज्यादातर क्रय केंद्र बंद कर दिए गए हैं, क्योंकि किसान अपना धान बेच चुके हैं। अब किसानों को भुगतान किया जा रहा है। जिला खाद्य विपणन अधिकारी डा. अनुपम निगम ने बताया कि इस बार 31268 किसानों ने क्रय केंद्रों पर धान बेचा है, जिसका 45156.83 लाख रुपये का भुगतान किया जा चुका है। अब भी यदि कोई किसान धान बेचने से रह गया है तो वह केंद्र प्रभारी से संपर्क कर सकता है। पहलेा उसका सत्यापन किया जाएगा। वास्तव में किसान होने पर उसका धान भी तौला जा सकेगा।

आठ माह बाद भी नहीं हुआ गेहूं का भुगतान : शाहबाद के मुहल्ला अफगानान निवासी कमर मियां पुत्र बेचा मियां ने आरोप लगाया है कि उन्होंने पिछले साल जो गेहूं बेचा था, उसका आठ माह बाद भी भुगतान नहीं किया गया है। उन्होंने इस संबंध में जिला प्रशासन से लेकर शासन और राज्यपाल से शिकायत की है। शिकायती पत्र में कहा है कि उन्हाेंने 25 मई 2021 को पीसीएफ नवीन मंडी शाहबाद में 40 बोरे गेहूं की तौल कराई थी, जिसका उनके पास पंजीकरण भी है।

उनके खाते में अभी तक पैसा नहीं आया। उन्होंने इस संबंध में ब्लाक परिसर स्थित सहकारी समिति में सचिव से बात की। तौल इंचार्ज से पूछा। सभी आश्वासन ही देते रहे। उधर, जिला खाद्य विपणन अधिकारी का कहना है कि पिछले साल के गेहूं का पूरा भुगतान हो चुका है। खरीद से लेकर भुगतान की प्रक्रिया आनलाइन होती है। यदि किसी किसान का भुगतान नहीं हुआ है तो वह उनसे आकर मिल सकता है।


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