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सालभर से बेटे संग सीतापुर जेल में बंद हैं सांसद आजम खां, सपा शासनकाल में था जलवा

बेटे अब्दुल्ला आजम के दो पासपोर्ट के मामले में भी आजम खां नामजद हैं। इसमें हाईकोर्ट से भी जमानत खारिज हो गई है। अब्दुल्ला के खिलाफ 43 मुकदमे दर्ज हैं। उनकी पासपोर्ट और पैन कार्ड के मुकदमें में जमानत होना शेष है। इन दोनों में जमानत खारिज हो चुकी है।

By Narendra KumarEdited By: Published: Fri, 26 Feb 2021 07:12 AM (IST)Updated: Fri, 26 Feb 2021 07:12 AM (IST)
सालभर से बेटे संग सीतापुर जेल में बंद हैं सांसद आजम खां, सपा शासनकाल में था जलवा
पिछले साल 26 फरवरी को अदालत में समर्पण करने के बाद जेल गए थे।

रामपुर [मुस्लेमीन]। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव एवं सांसद आजम खां एक साल से बेटे अब्दुल्ला समेत जेल में बंद हैं। उनकी पत्नी शहर विधायक डा. तजीन फात्मा भी दस माह बाद जेल से छूटी हैं। उनसे मिलने सपा मुखिया अखिलेश यादव समेत तमाम नेता रामपुर आ चुके हैं। तीनों पिछले साल 26 फरवरी को अदालत में समर्पण करने के बाद जेल गए थे।

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सपा शासनकाल में आजम खां का जलवा कायम था। लेकिन, आज वहीं आजम खां सालभर से जेल की हवा खा रहे हैं। साल 2019 में उनके खिलाफ बड़े पैमाने पर मुकदमे दर्ज हुए। लोकसभा चुनाव के दौरान आचार संहिता उल्लंघन और भड़काऊ भाषण देने में 15 मुकदमे लिखे गए थे। इसके बाद जौहर यूनिवर्सिटी के लिए जमीने कब्जाने के 30 मुकदमे दर्ज हुए। इसके अलावा 12 मुकदमे घोसियान प्रकरण में दर्ज हुए। इस मामले में जो रिपोर्ट लिखी गईं, उनमें आरोप लगाया गया कि सपा शासनकाल में आजम खां के कहने पर घोसियान बस्ती में बने मकानों को तोड़कर लूटपाट की गई। जमीन पर कब्जा कर आजम खां के जौहर ट्रस्ट का स्कूल बनवाया गया। भैंस चोरी, बकरी चोरी के भी आरोप लगे। आजम खां के समर्थकों पर 11 मुकदमे डूंगरपुर प्रकरण में दर्ज कराए गए। इस जगह पहले लोगों के मकान बने थे, जिन्हेंं नगर पालिका की जमीन पर बताकर तोड़ दिया और फिर गरीबों के लिए आसरा आवास बनवा दिए गए। इस प्रकरण में आजम खां नामजद नहीं थे। लेकिन, पुलिस ने नमाजद लोगों को गिरफ्तार किया तो उन्होंने आजम खां के इशारे पर वारदात करने की बात कही। इसपर इन मामलों में भी आजम खां का नाम शामिल कर दिया। चार मुकदमों में नहीं हो सकी जमानत सांसद आजम खां की अभी चार मुकदमों में जमानत नहीं हो सकी है। राज्यसभा सदस्य रहे स्वर्गीय अमर सिंह के खिलाफ भी आजम खां ने आपत्तिजनक उन्होंने बयान दिया था। इसपर उनके खिलाफ मुकदमा हुआ। उनकी मां ने फांसी घर की जमीन खरीदी थी। इस मामले में भी पुलिस ने विवेचना के दौरान उनका नाम शामिल कर लिया। जौहर यूनिवर्सिटी में शत्रु संपत्ति की जमीन कब्जाने में भी उनपर केस दर्ज हुआ। इन तीनों मामलों में भी उनकी जमानत नहीं हो सकी है। पुलिस अधीक्षक शगुन गौतम ने बताया कि आजम खां के खिलाफ शुरू से अब तक 102 मुकदमे दर्ज हुए हैं। इनमें नौ मुकदमें शासन ने वापस ले लिए। सात में फाइनल रिपोर्ट लग गई। 86 मुकदमे लंबित हैं। इनमें 75 में चार्जशीट लग चुकी है। 11 में विवेचना जारी है। चार मुकदमों में जमानत नहीं हो सकी है।


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