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Moradabad Health News : कोरोना की दूसरी लहर में संस्थागत प्रसव में आई कमी, आशा कार्यकर्ता कर रहीं जागरूक

कोरोना महामारी की पहली लहर में ढाई गुना अधिक संस्थागत प्रसव हुआ। 2020-21 में 42641 सरकारी और निजी अस्पतालों में प्रसव हुआ। 2021-22 के हालात ये हैं कि साल के छह माह बीत चुके हैं अभी सिर्फ 8451 ही संस्थागत प्रसव हुए हैं।

By Narendra KumarEdited By: Published: Sun, 11 Jul 2021 12:46 PM (IST)Updated: Sun, 11 Jul 2021 12:46 PM (IST)
Moradabad Health News : कोरोना की दूसरी लहर में संस्थागत प्रसव में आई कमी, आशा कार्यकर्ता कर रहीं जागरूक
05 साल में सरकारी अस्पतालाें में 98,753 हुए संस्थागत प्रसव।

मुरादाबाद [मेहंदी अशरफी]। कोरोना महामारी की पहली लहर में ढाई गुना अधिक संस्थागत प्रसव हुआ। 2020-21 में 42,641 सरकारी और निजी अस्पतालों में प्रसव हुआ। 2021-22 के हालात ये हैं कि साल के छह माह बीत चुके हैं अभी सिर्फ 8,451 ही संस्थागत प्रसव हुए हैं। इसमें 1,911 सरकारी अस्पताल और निजी अस्पताल में 6540 प्रसव हुए।

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कोरोना महामारी की दूसरी लहर में प्रसव कम हुए हैं। अधिकांश प्रसव घर पर दाई के भरोसे ही हुए हैं, जो स्वास्थ्य विभाग के लिए चिंता का विषय बना हुआ है। स्वास्थ्य विभाग ने सामुदायिक-प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर संस्थागत प्रसव कराने के लिए जागरूकता अभियान चलाने पर जोर दिया है। इसके लिए प्रभारी चिकित्सा अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे इसमें लोगों को जागरूक करें। जिससे वो घर में प्रसव नहीं कराएं।

दरवाजे पर दस्तक देकर करेंगे जागरूक : स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी जिले की 2150 आशा कार्यकर्ता घर-घर महिलाओं को जागरूक करेंगी। उन्हें संस्थागत प्रसव के फायदे के बारे में बताया जाएगा। इसके साथ ही उन्हें समझाया जाएगा कि सरकारी व्यवस्था में गर्भवती कितनी सुरक्षित रहती है। इसके लिए जिले के 584 गांवों में आशा कार्यकर्ताएं जाएंगी। सरकारी योजना के फायदे के बारे में भी बताया जाएगा। जिससे लोगों को जानकारी मिल सके।

वर्ष,               सरकारी अस्पताल,    निजी अस्पताल,             मौत,

2016-17,         22098,                 9605,                         26,

2017-18,          21000,                11232,                       58,

2018-19,          19530,                 11126,                       32,

2019-20,          19954,                 37876,                      68,

2020-21,           14260,                 28381,                      51,

2021-22,           1911,                   6540,                       05,

संस्थागत प्रसव पर जोर दिया जा रहा है। गांव और शहरी क्षेत्र के वार्डों में आशा कार्यकर्ता लगातार प्रचार कर रही हैं। इससे मृत्युदर में भी कमी आई है। लोगों से यही अपील है कि संस्थागत प्रसव के लिए सरकारी अस्पतालों में जाएं।

डा. एमसी गर्ग, मुख्य चिकित्सा अधिकारी


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