किसानों, युवाओं व महिलाओं ने बजट को सराहा
जागरण संवाददाता मीरजापुर वित्तमंत्री द्वारा पेश बजट को लेकर लोगों ने सराहना की तो कर्मचा
जागरण संवाददाता, मीरजापुर : वित्तमंत्री द्वारा पेश बजट को लेकर लोगों ने सराहना की तो कर्मचारियों में मायूसी दिखी। कुछ लोगों ने घर बेचकर खर्च चलाने वाला बजट बताया। कर्मचारियों ने कहा कि सरकार द्वारा बजट में निजीकरण पर जोर दिया गया है। हालांकि डिवेंडेड को कर से मुक्त करने पर प्रसन्नता जताया। महिलाओं, युवाओं, किसानों ने बजट को सराहा।
घर बेचकर खर्च चलाने वाला बजट
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा भाषण में कहा गया कि आत्मनिर्भरता का बजट है। फ्रेट कारिडोर रेलवे लाइन, इंडियन आयल, गेल की गैस पाइप लाइन, दो सरकारी बैंक और एलआइसी, कई राजमार्ग, रक्षा क्षेत्र और रेल के लिए सुरक्षित जमीनें भी बेंची जाएंगी। इस तरह से सरकार खर्च चलाएगी तो आत्मनिर्भरता कैसे होगी। बेरोजगारी बढ़ने के बावजूद मनरेगा में आवंटन पिछले वर्ष के लगभग बराबर रखा गया है। घर बेचकर खर्च चलाने वाला बजट कहा जा सकता है।
- अरूण मिश्रा, नागरिक। बजट से कर्मचारी हुए निराश
बजट में कर्मचारियों के लिए कुछ कुछ भी नहीं है। सरकार द्वारा बजट में निजीकरण पर जोर दिया गया है। डिवेंडेड को कर मुक्त करने से कर्मचारियों को राहत मिली है। कर्मचारियों को सरकार के बजट से काफी आशा थी, लेकिन बजट पेश होने के बाद काफी निराशा मिली है। कर्मचारियों को उम्मीद थी कि इस बजट में कर्मचारियों का सीज किया गया महंगाई भत्ता जारी करने, इनकम टैक्स की सीमा बढ़ाने तथा स्वास्थ्यकर्मी के लिए कुछ बेहतर करने की घोषणा जरूर होगी। कर्मचारियों को बजट से घोर निराशा हुई है।
- नारायणजी दुबे, जिलाध्यक्ष, राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद।
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बजट पर बोलीं गृहिणी
स्वास्थ्य बजट में 135 प्रतिशत का इजाफा किया गया है। बजट को 94 हजार से 2.38 लाख करोड़ किया गया है। कोरोना वैक्सीनेशन पर 35 हजार करोड़ हुई है। सरकार द्वारा हेल्थ सेक्टर में 2.38 लाख करोड़ खर्च करने का प्राविधान किया गया है। इससे लोगों को काफी राहत मिलेगी।
- शीला देवी, गृहिणी।
उज्जवला योजना के तहत देश भर में एक करोड़ लाभार्थियों को जोड़ने का लक्ष्य बजट में रखा गया है। इससे महिलाओं को काफी राहत मिलेगी। सरकार की मंशानुरुप घर में लकड़ी पर खाना नहीं बनाना पड़ेगा।
- वंदना बरनवाल, गृहिणी। ------------
बजट में स्टैंडअप इंडिया के तहत अनुसूचित जाति, जनजाति के लिए मार्जिन मनी की जरूरत 25 फीसद से घटाकर 15 फीसद किया गया। इससे बेरोजगार युवाओं को रोजगार स्थापित करने में काफी मदद मिलेगी। सरकार द्वारा सराहनीय निर्णय लिया गया है।
- छोटे, बेरोजगार। वित्तमंत्री ने बजट में आत्मनिर्भर पैकेज दिया। इस पर 27.1 लाख करोड़ रुपए का प्राविधान किया गया है, जो जीडीपी का 13 प्रतिशत है। सरकार का यह निर्णय आगामी दिनों में युवाओं के लिए मिल का पत्थर साबित होगा।
- शिवम केसरी, बेरोजगार।
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बोले किसान
बजट में वित्तमंत्री द्वारा कृषि को मजबूत करने और किसानों की आय बढ़ाने के लिए कई प्राविधान किया गया है। इससे किसानों की स्थिति मजबूत होगी।
- अवधेश सिंह, किसान। वित्तमंत्री द्वारा बजट में किए गए नए प्राविधान से किसानों को आसानी से और ज्यादा ऋण मिल सकेगा। इससे किसानों की आय दोगुनी तो होगी। साथ ही किसानों को खेती के लिए साहुकारों से कर्ज नहीं लेना पड़ेगा। बजट ने किसानों को छू लिया।
- दयाराम मिश्र, किसान
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बोले व्यापारी
स्टार्टअप, ईज आफ डूइंग के तहत अब 182 दिन की बजाए केवल 120 दिन में कंपनी शुरू कर सकेंगे। छोटी कंपनियों की परिभाषा में बदलाव होने से व्यापारियों को काफी राहत मिलेगी। युवा व्यापारियों को प्रोत्साहन मिलेगा।
- गोपाल अग्रवाल, व्यापारी। राज्यों को स्थानीय निकायों को विकास और निर्माण के लिए दो लाख करोड़ का प्राविधान किया गया है। इसमें रोजगार सृजन के साथ ही व्यापारियों को काफी लाभ होगा।
- निखिल मेहरोत्रा, व्यापारी।
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क्या बोले युवा
बजट में रिसर्च और इनोवेशन पर बल दिया गया है। इससे युवाओं को ताकत मिलेगी। इंफ्रास्ट्रक्चर पर खर्च होने से रोजगार के लिए बड़ा फायदा मिलेगा। युवाओं के लिए रोजगार के अवसर बढ़ेंगे।
- परख, युवा। बजट में आत्मनिर्भर का विजन है। हर नागरिक में विश्वास भरने वाला बजट है। युवाओं के लिए अवसरों का निर्माण होगा। मानव संसाधन को इससे नया आयाम मिलेगा।
- प्रणय, युवा।