Move to Jagran APP

Rapid Rail : 21 को दूर होंगी रैपिड रेल की बाधाएं, जानिए क्‍यों अहम है मुख्‍य सचिव की बैठक Meerut News

मेरठ में रैपिड रेल परियोजना को धरातल पर उतारने के लिए विभिन्‍न विभागों से मिलने वाली जमीनों के लिए रास्‍ता साफ हो जाए इसके लिए 21 अगस्‍त को मुख्‍य सचिव बैठक लेंगे।

By Prem BhattEdited By: Published: Tue, 20 Aug 2019 10:43 AM (IST)Updated: Tue, 20 Aug 2019 10:43 AM (IST)
Rapid Rail : 21 को दूर होंगी रैपिड रेल की बाधाएं, जानिए क्‍यों अहम है मुख्‍य सचिव की बैठक Meerut News
Rapid Rail : 21 को दूर होंगी रैपिड रेल की बाधाएं, जानिए क्‍यों अहम है मुख्‍य सचिव की बैठक Meerut News
मेरठ, [जागरण स्‍पेशल] । रैपिड रेल और दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे प्रोजेक्ट के लिए 21 अगस्त महत्वपूर्ण तारीख साबित होगी। मुख्य सचिव लखनऊ में दोनों प्रोजेक्ट की समीक्षा करेंगे। समीक्षा बैठक में रैपिड रेल कारीडोर के लिए आवश्यक विभिन्न विभागों की सरकारी जमीन को हैंडओवर करने की अनुमति शासन से प्राप्त की जाएगी। दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे की प्रगति की भी समीक्षा कर बाधाएं दूर की जाएंगी। इससे पहले मंगलवार को प्रमुख सचिव आवास बैठक करेंगे।
बस अड्डे की जमीन भी होनी है हैंडओवर
रैपिड रेल को दिल्ली से मेरठ तक लाने के लिए गाजियाबाद विकास प्राधिकरण, मेरठ विकास प्राधिकरण, नगर निगम, सिंचाई, पावर कारपोरेशन, यूपीएसआइडीसी, ग्राम समाज समेत तमाम विभागों की जमीनें एनसीआरटीसी को दी जानी हैं, ताकि रैपिड रेल का कॉरीडोर तैयार किया जा सके। मेरठ शहर में भैंसाली रोडवेज डिपो की जमीन हैंडओवर की जानी है। इन सभी जमीनों को रैपिड रेल को ट्रांसफर करने का आदेश शासन स्तर से जारी होना है। स्थानीय स्तर पर सभी औपचारिकताएं पूरी करके प्रस्ताव शासन को भेजे भी जा चुके हैं। बिजली की हाईटेंशन और ट्रांसमिशन की लाइनें भी रैपिड के रास्ते में हैं, जिन्हें शिफ्ट किया जाना है।
बैठक में इन्‍हें किया गया है आमंत्रित
रैपिड रेल और दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे दोनों प्रोजेक्ट केंद्र और प्रदेश सरकार की प्राथमिकता में शामिल हैं। इसके चलते मुख्य सचिव की अध्यक्षता वाली हाई पॉवर कमेटी प्रत्येक 15 दिन में इनकी प्रगति की समीक्षा करती है। मुख्य सचिव ने 21 अगस्त को बैठक बुलाई है। इसमें सभी संबंधित विभागों के अपर मुख्य सचिव और प्रमुख सचिव, आयुक्त मेरठ मंडल, आवास आयुक्त, गाजियाबाद और मेरठ जनपद के डीएम, विकास प्राधिकरणों के उपाध्यक्ष, लखनऊ मेट्रो रेल कारपोरेशन के एमडी तथा रोडवेज के एमडी को आमंत्रित किया है।
लक्ष्‍य के मुताबिक काम पूरा करने के निर्देश
कमिश्नर अनीता सी मेश्राम ने बताया कि बैठक में रैपिड रेल को ट्रांसफर की जाने वाली विभिन्न विभागों की जमीनों की अनुमति शासन से मिलने की उम्मीद है। स्थानीय स्तर पर सभी तैयारियां समयानुसार चल रही हैं। इसके अलावा अन्य जरूरतों पर भी मंथन किया जाएगा। दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे का काम भी अच्छी गति से जारी है। बारिश और कांवड़ यात्रा के कारण मेरठ से डासना के बीच निर्माण कार्य प्रभावित हुआ है। इसकी समीक्षा के साथ साथ संबंधित अधिकारियों को लक्ष्य के मुताबिक निर्धारित समय पर काम पूरा करने का निर्देश दिया जाएगा।
जमीन की कीमत होगी अंशदान में शामिल
ऐसा माना जा रहा है कि शासन रैपिड के लिए दी जाने वाली जमीन की कीमत को अपने अंशदान में समायोजित कर सकता है। परियोजना में उत्तर प्रदेश सरकार, भारत सरकार व दिल्ली सरकार को अंशदान करना है। साहिबाबाद से दुहाई तक रैपिड रेल कॉरिडोर का काम तेजी से चल रहा है। गाजियाबाद की वसुंधरा आवासीय योजना में कािस्‍ंटग यार्ड बनाने के लिए जमीन दे दी गई है। मेरठ में शताब्दीनगर में 28 हेक्टेयर भूमि कािस्‍ंटग यार्ड बनाने के लिए एमडीए किराये पर जमीन देगा। भैंसाली अड्डे की मौजूदा वर्कशॉप को भी शताब्दीनगर में शिफ्ट किया जाएगा। शताब्दीनगर में ही रैपिड रेल के स्टेशन व अन्य कार्य के लिए जमीन खरीदी जाएगी। दुहाई में डिपो बनाने को 67.18 हेक्टेयर जमीन का नोटिफिकेशन हो चुका है। मेरठ में मोदीपुरम डिपो बनाने के लिए जमीन के रेट को लेकर बातचीत चल रही है। 

Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.