मेरठ में अनसुलझी पहेली बने ये हत्याकांड , जानें क्या है पूरा मामला Meerut News
लिसाड़ी गेट में पांच माह में चार हत्याकांड अनसुलझी पहेली बन गए हैं। दो शवों की शिनाख्त तो आज तक नहीं हो पाई है। पुलिस ने शुरुआत में पूरी भागदौड़ की लेकिन अब मामला ठंडे बस्ते में चला गया है।
मेरठ, जेएनएन। लिसाड़ी गेट में पांच माह में चार हत्याकांड अनसुलझी पहेली बन गए हैं। दो शवों की शिनाख्त तो आज तक नहीं हो पाई है। पुलिस ने शुरुआत में पूरी भागदौड़ की, लेकिन अब मामला ठंडे बस्ते में चला गया है। स्वजन को भी मलाल है कि उनके अपने चले गए, लेकिन हत्यारोपितों तक पुलिस के हाथ नहीं पहुंचे हैं। वहीं, फारेंसिक से लेकर सर्विलांस तक की टीम के हाथ खाली हैं।
वारदात-दर-वारदात
21 जुलाई 20 :- फतेहउल्लापुर निवासी इरफान की नौ साल की बेटी जोया को रात दो बजे कोई घर से सोते हुए ले गया था। अगले दिन घर से पांच सौ मीटर दूर खेत में शव मिला था। गला दबाकर हत्या की गई थी। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। कई लोगों से पूछताछ हुई, लेकिन आरोपित का कुछ पता नहीं चल सका।
15 सितंबर 20 :- मदीना कालोनी निवासी लोगों ने सुबह क्षेत्र में एक युवक का शव देखकर पुलिस को सूचना दी। सीओ और थाना पुलिस पहुंच गई। शव की शिनाख्त का प्रयास किया। वाट््सएप ग्रुप पर भी फोटो शेयर किए, लेकिन आज तक उसकी पहचान नहीं हो सकी है।
26 अक्टूबर 20 :- फतेहउल्लापुर के श्मशान घाट में एक महिला का शव 15 टुकड़ों में मिला था। लखनऊ तक से फोन घनघनाने लगे थे। जल्द राजफाश का निर्देश हुआ था, लेकिन अभी तक तो शव की शिनाख्त ही नहीं हो पाई है। फरवरी 2011 में भी एक युवक की हत्या करने के बाद शव को फतेहउल्लापुर के श्मशान में जला दिया गया था। उसकी भी शिनाखत नहीं हो सकी थी।
इन्होंने कहा...
जिनकी शिनाख्त हो गई है। उनके हत्यारोपितों की तलाश के लिए काम किया जा रहा है। जिनकी पहचान नहीं हो पाई है, उनके बारे में भी जानकारी जुटाई जा रही है। आसपस की पुलिस से भी संपर्क किया जा रहा है। जल्द ही हत्यारोपित पकड़े जाएंगे।
-अरविंद चौरसिया, सीओ कोतवाली