मेरठ को जल्द मिलने वाली है इस मुसीबत से मुक्ति
माधवपुरम मंगलपांडे नगर समेत कई वार्डो को खुले खत्तों से जल्द मुक्ति मिल जाएगी। इसकी कवायद तेज हो गई है। प्रथम चरण में पांच कूड़ा ट्रांसफर स्टेशन का सिविल वर्क चालू हो गया है।
मेरठ, जेएनएन। माधवपुरम, मंगलपांडे नगर समेत कई वार्डो को खुले खत्तों से जल्द मुक्ति मिल जाएगी। इसकी कवायद तेज हो गई है। प्रथम चरण में पांच कूड़ा ट्रांसफर स्टेशन का सिविल वर्क चालू हो गया है। यहां कचरा रखने के लिए पोर्टेबल कांपेक्टर की खरीदी के लिए निगम ने टेंडर निकाल दिया है।
माधवपुरम, मंगलपांडे नगर, कमेलापुल के पास, बच्चा पार्क और मार्शल पिच के पास कूड़ा ट्रांसफर स्टेशन की दीवार और फर्श का निर्माण शुरू हो गया है। इन पांचों स्थानों पर ही पोर्टेबल कांपेक्टर रखे जाएंगे। एक स्थान पर दो कांपेक्टर होंगे। एक कांपेक्टर में कम से कम 16 टन कचरा बंद करके रखा जा सकेगा। इस तरह एक कूड़ा ट्रांसफर स्टेशन पर एक बार में 30 टन कचरा कांपेक्टर में एकत्र किया जा सकेगा। एक अनुमान के मुताबिक एक वार्ड में चार टन कचरा प्रतिदिन उत्सर्जित होता है। इस हिसाब से एक कूड़ा ट्रांसफर स्टेशन पर छह से सात वार्ड का कूड़ा एकत्र हो सकेगा। अर्थात एक ट्रांसफर स्टेशन के जरिए छह से सात वार्ड के खुले खत्ते समाप्त किए जा सकेंगे। कांपेक्टर बिजली से खुलेगा और बंद होगा। इसके बाहर न तो दुर्गंध जाएगी और न कचरा फैलेगा। हुक लोडर से उठाकर कचरे से भरा कांपेक्टर सीधे डंपिग ग्राउंड ले जाकर खाली किया जाएगा। सहायक नगर आयुक्त प्रथम बृजपाल सिंह ने बताया कि पोर्टेबल कांपेक्टर खरीदी के लिए जो टेंडर पहले निकाले गए थे, उन पर कुछ आपत्तियां आ गई थीं। जिसके चलते पूर्व की प्रक्रिया को निरस्त कर दिया गया है। उसके बदले नए सिरे से ई-टेंडर प्रक्रिया फिर शुरू की गई है। शनिवार को 10 पोर्टेबल कांपेक्टर और चार हुक लोडर खरीदी के लिए दोबारा टेंडर निकाला गया है।