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Integrated Traffic Management System: नए साल में मेरठ का ट्रैफिक हो जाएगा स्मार्ट, नियमों का उल्लंघन पड़ेगा महंगा

Integrated Traffic Management System यह भी जानिए कि मेरठ में इंटीग्रेटेड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम प्रोजेक्‍ट की कुल लागत 29.59 करोड़ है। शहर के 09 चौराहे प्रोजेक्ट में किए गए हैं शामिल और 31 दिसंबर तक काम निपटाने का है लक्ष्य।

By Prem Dutt BhattEdited By: Published: Sun, 03 Oct 2021 08:36 AM (IST)Updated: Sun, 03 Oct 2021 09:29 AM (IST)
Integrated Traffic Management System: नए साल में मेरठ का ट्रैफिक हो जाएगा स्मार्ट, नियमों का उल्लंघन पड़ेगा महंगा
मेरठ में सोमवार से चौराहों का सर्वे शुरू करेगी चयनित कंपनी।

मेरठ, जागरण संवाददाता। अगर कोई बाधा न हुई तो राज्य स्मार्ट सिटी मिशन योजना के अंतर्गत नए साल में इंटीग्रेटेड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम से शहर की यातायात व्यवस्था का संचालन शुरू हो जाएगा। यह दावा नगर निगम अधिकारियों का है। उनका कहना है कि 31 दिसबंर तक प्रोजेक्ट के सारे काम निपटाने का लक्ष्य रखा गया है। आइटीएमएस प्रोजेक्ट का काम एनइसी कारपोरेशन इंडिया प्राइवेट लिमिटेड को सौंपा गया है।

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सोमवार से शुरू होगा सर्वे

29.59 करोड़ रुपये से शहर के नौ चौराहों पर आटोमेटिक ट्रैफिक सिग्नल प्रणाली से युक्त आइटीएमएस को स्थापित किया जाना है। चयनित कंपनी सोमवार से चौराहों का सर्वे शुरू कर देगी। सर्वे रिपोर्ट 15 अक्टूबर तक नगर निगम को सौंपेगी। सर्वे में इंटीग्रेटेड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम को स्थापित करने में आ रही दिक्कतों को चिह्नित किया जाएगा। ये दिक्कतें जिन विभागों से संबंधित होंगी उनके साथ बैठक की जाएगी। कमियों को दूर करने के बाद आइटीएमएस को स्थापित करने का काम शुरू होगा। सर्वे के दौरान यह देखा जाएगा कि चौराहों पर कितनी जगह है। ट्रैफिक लोड कितना है।

यहां बनेगा कंट्रोल रूम

चौराहे के पास से बिजली लाइन या पेयजल व सीवर लाइन तो नहीं गुजर रही है। उससे कोई दिक्कत तो नहीं होगी। चौराहे का पूरा परिदृश्‍य हाइटेक सीसीटीवी कैमरे में किस जगह से आएगा। यह भी देखा जाएगा। इस तरह नौ चौराहों की वास्तविक स्थिति 15 दिन बाद स्पष्ट हो सकेगी। वहीं, आइटीएमएस का कंट्रोल रूम कलक्ट्रेट परिसर में बनना है। लेकिन भवन बनकर तैयार होने तक नगर निगम की तीसरी मंजिल में अस्थायी रूप से कंट्रोल रूम बनाया जाएगा।

नियमों का उल्लंघन पड़ेगा महंगा

आइटीएमएस के लागू होने के बाद लाल बत्ती का उल्लंघन, आटोमेटिक नंबर प्लेट का परीक्षण, हेलमेट न होना, दोपहिया वाहनों पर तीन सवारी के चालान स्वत: ही जनरेट होकर घर पहुंच जाएंगे। अर्थात शहर में ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन महंगा पड़ेगा। इसके लिए आटोमेटिक सिग्नल प्रणाली, हाइटेक कैमरे लगाए जाएंगे। आटोमेटिक साउंड सिस्टम लगेगा। आपातकालीन काल इनबाक्स बनाए जाएंगे। कंट्रोल रूम से सीधे कनेक्टिविटी रहेगी। कंट्रोल रूम में नगर निगम और यातायात पुलिस के प्रशिक्षित कर्मचारी बैठकर पूरी व्यवस्था का संचालन करेंगे।

ये हैं नौ चौराहे

तेजगढ़ी चौराहा, एल ब्लाक तिराहा, जेलचुंगी चौराहा, कमिश्नरी आवास चौराहा, ईव्ज चौराहा, गांधी आश्रम चौराहा, हापुड़ अड्डा चौराहा, कमिश्नरी चौराहा, बच्चा पार्क चौराहा आदि।

इनका कहना है

चयनित कंपनी के प्रतिनिधियों से बात हुई है। सोमवार से कंपनी चौराहों का सर्वे शुरू करेगी। कंपनी से जल्द से जल्द काम निपटाने को कहा गया है। ताकि जनवरी में आइटीएमएस को लागू किया जा सके। शासन से भी जल्द काम कराने के निर्देश मिले हैं।

- अमित कुमार शर्मा, अधिशासी अभियंता, नगर निगम।


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