प्राथमिकता के आधार पर बनेंगे कोरी समाज के जाति प्रमाण पत्र
कोरी समाज की सबसे बड़ी समस्या जाति प्रमाण पत्र की है। जिसे प्राथमिकता के आधार पर हल किया जाएगा। जाति प्रमाण पत्र बनवाए जाएंगे। यह बातें मुख्य अतिथि उत्तर प्रदेश के एससी एसटी आयोग के चेयरमैन व पूर्व डीजीपी बृजलाल कोरी ने कहीं।
मेरठ : कोरी समाज की सबसे बड़ी समस्या जाति प्रमाण पत्र की है। जिसे प्राथमिकता के आधार पर हल किया जाएगा। जाति प्रमाण पत्र बनवाए जाएंगे। मेरठ, बागपत और मुजफ्फरनगर के अधिकारियों से बात की गई है। इस कार्य में अब कोई परेशानी आगे नहीं आएगी। यह बातें मुख्य अतिथि उत्तर प्रदेश के एससी एसटी आयोग के चेयरमैन व पूर्व डीजीपी बृजलाल कोरी ने कहीं।
रविवार को परतापुर स्थित जेपी रिसार्ट में कोरी-भुईयार समाज का महासम्मेलन आयोजित किया गया। जिसमें पश्चिमी उप्र से हजारों की संख्या में कोरी-भुईयार समाज के लोग पहुंचे। महासम्मेलन में मुख्य अतिथि ने आगे कहा कि एससी-एसटी वर्ग के लोगों की समस्याओं को शीघ्र निराकरण किया जाएगा। विशिष्ट अतिथि श्रम एवं सेवायोजन राज्य मंत्री मनोहर लाल कोरी ने कहा कि बालश्रम अपराध है। इसके लिए जागरूक होने की जरूरत है। सेवायोजन विभाग इस पर निरंतर कार्य कर रहा है। इससे पहले अतिथियों को पगड़ी पहनाकर सम्मानित किया गया। महासम्मेलन में पश्चिमी उत्तर प्रदेश के जनपदों में बसों से लोग पहुंचे थे।
साध्वी प्राची के भाषण पर भड़के लोग
महासम्मेलन में साध्वी प्राची ने केंद्र सरकार की तारीफ शुरू कर दी। कहा कि दलित समाज को ऊपर उठाने का काम किया है। देश के प्रथम नागरिक हों या फिर पूर्व डीजीपी। उन्हें सम्मान देने का कार्य किया है। जबकि अन्य पार्टियों ने केवल बिखराव किया है। यह बात सुनकर कुछ महिलाएं और पुरुष भड़क गए। मंच के पास आकर कहने लगे हम पार्टी का गुणगान सुनने नहीं आए हैं। हम सामाजिक सम्मेलन में समाज की बात सुनने आए हैं। जिसके बाद साध्वी ने भाषण समाप्त कर दिया।
बिना सुबूत अब भी कोई कार्रवाई नहीं: ब्रजलाल
मेरठ : उप्र अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति आयोग के अध्यक्ष ब्रजलाल ने कहा कि अधिकारी जनता की समस्याओं को बेहद गंभीरता से लें और शीघ्रता से उनका निस्तारण करें। कहा कि एससी-एसटी एक्ट में संशोधन को लेकर भ्रमित न हों। बिना सुबूत के अब भी कोई कार्रवाई नहीं होगी।
रविवार को सर्किट हाउस में पत्रकारों से बातचीत में ब्रजलाल ने कहा कि अधिकारी जनता के बीच इस तरह कार्य करें जिससे उनका विश्वास कायम हो। साथ ही जनता की जो भी समस्याएं हों उनका शीघ्रता से निस्तारण करें। कहा कि जब वह प्रदेश में डीजीपी थे, तब रात को यदि 12 बजे भी किसी का फोन आ जाता था तो उसे अवश्य उठाते थे। उनका मानना है कि यदि अधिकारी केवल फोन पर ही समस्या सुन लें तो 80 प्रतिशत का निस्तारण हो जाता है। इससे पूर्व सर्किट हाउस में विभिन्न संगठनों के पदाधिकारियों व लोगों ने अपनी समस्याओं को लेकर उन्हें ज्ञापन दिए।