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Teaching Fraud: फर्जी शिक्षकों पर बेसिक शिक्षा विभाग हुआ सख्त, रिकवरी नहीं हुई तो संपत्ति से करेगी वसूली

मेरठ में दो शिक्षकों के भर्जी तरीके से शिक्षण कार्य करने पर एफआईआर दर्ज कराया गया है। बेसिक शिक्षा विभाग का कहना है कि यदि रिकवरी नहीं हुई तो इनकी संपत्ति से रकम वसूली जाएगी।

By Prem BhattEdited By: Published: Sun, 02 Aug 2020 11:32 PM (IST)Updated: Sun, 02 Aug 2020 11:32 PM (IST)
Teaching Fraud: फर्जी शिक्षकों पर बेसिक शिक्षा विभाग हुआ सख्त, रिकवरी नहीं हुई तो संपत्ति से करेगी वसूली
Teaching Fraud: फर्जी शिक्षकों पर बेसिक शिक्षा विभाग हुआ सख्त, रिकवरी नहीं हुई तो संपत्ति से करेगी वसूली

मेरठ, जेएनएन। फर्जी बीएड की डिग्री के सहारे बेसिक शिक्षा के स्कूलों में सालों से नौकरी करने वाले दो फर्जी शिक्षकों पर बेसिक शिक्षा विभाग सख्त हो गया है। दोनों शिक्षकों के खिलाफ एफआइआर दर्ज कराते हुए रिकवरी के आदेश दिए जा चुके हैं। रिकवरी न होने पर शिक्षकों की संपत्ति से भी वसूली की जाएगी। दोनों शिक्षकों पर लाखों रुपये की रिकवरी होनी है।

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फर्जी डिग्री के आधार पर स्कूल से बर्खास्त शिक्षकों से रिकवरी के आदेश दिए गए हैं। इसमें एक आरोपी शिक्षक खरखौदा ब्लाक और दूसरा रोहटा स्थित स्कूल में कार्यरत थे। इसमें एक आरोपित शिक्षक हरिगोपाल से 44 लाख रुपये और दूसरी शिक्षिका सुमन से करीब 43 लाख रुपये रिकवरी की जाएगी। बेसिक शिक्षा अधिकारी सतेंद्र ने बताया कि वर्ष 2010 से ये दोनों आरोपित शिक्षक फर्जी प्रमाणपत्र नौकरी कर रहे थे। करीब दस साल इन दोनों ने फर्जी प्रमाणपत्र पर ही वेतन लेते रहे।

दोनों शिक्षकों की डिग्री आगरा विश्वविद्यालय से है जो जांच में पूरी तरह से फर्जी पाई गई। उन्होंने बताया कि रिकवरी न होने पर आरोपियों की संपत्ति की वसूली की जाएगी। उन्होंने कहा कि जिले में जांच में केवल दो शिक्षकों के प्रमाणपत्र फर्जी मिले हैं। पुलिस ने अभी गिरफ्तार नहीं किया है।  


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