Basant Panchami 2021: मेरठ में भक्ति और उल्लास से मना बसंत पंचमी का पर्व
Basant Panchami 2021 मेरठ में बसंत का उल्लास जगह-जगह छतों में और मैदानों में नजर आया जहां बच्चे युवा और महिलाएं पतंग उड़ाते नजर आए। आसमान रंग बिरंगी पतंगों से ढका रहा। रजकुंड स्थित देवी सरस्वती के प्राचीन मंदिर में सुबह के समय हवन का आयोजन हुआ।
मेरठ, जेएनएन। विद्या की देवी सरस्वती का प्रकट उत्सव आस्था और उत्साह से मनाया गया। बसंत का उल्लास जगह-जगह छतों में और मैदानों में नजर आया, जहां बच्चे, युवा और महिलाएं पतंग उड़ाते नजर आए। आसमान रंग बिरंगी पतंगों से ढका रहा। रजकुंड स्थित देवी सरस्वती के प्राचीन मंदिर में सुबह के समय हवन का आयोजन हुआ। पुजारी हरिहर नाथ झा ने बताया 15 बच्चों का विद्यारंभ पूजन कराया गया। दर्शन करने के लिए लोग विशेष रुप से महिलाएं पीले वस्त्रों में पहुंची। देवी को पीले पकवानों और पीले चावलों का भोग लगाया गया। सदर दुर्गाबाड़ी में देवी सरस्वती की प्रतिमा की स्थापना की गई। 16 उपचारों से देवी का पूजन किया गया। पुजारी तपन चक्रवर्ती ने देवी सरस्वती के बीज मंत्र से हवन कराया यहां पर छात्र छात्राओं ने अपनी पुस्तक और कॉपियां देवी के चरणों में रखी और विद्या प्रदान करने के लिए प्रार्थना की। पुरोहित तपन चक्रवर्ती ने हाथे खेड़ी संस्कार संपन्न कराया। कल्याण नगर स्थित गायत्री शक्तिपीठ के नवीन परिसर में पांच कुंडीय गायत्री महायज्ञ और शिलान्यास हुआ। बसंत पर्व के पावन अवसर पर अखिल विश्व गायत्री परिवार शान्तिकुंज हरिद्वार की मेरठ शाखा गायत्री शक्तिपीठ कल्याणनगर, मेरठ के विस्तार हेतु ली गई। नवीन भूमि पर निर्माण का शिलान्यास किया गया। साथ ही गायत्री परिवार के संस्थापक परम पूज्य गुरुदेव पंडित श्री राम शर्मा आचार्य का बोध दिवस, गायत्री शक्तिपीठ कल्याणनगर मेरठ का 35 वां वार्षिकोत्सव एवं गायत्री माता मूर्ति का 17वां स्थापना दिवस भी हर्षोल्लास से मनाया गया। शांतिकुंज हरिद्वार के वरिष्ठ योगेश शर्मा एवं महामंडलेश्वर माता नीलिमानंद द्वारा प्रारंभिक ईंटें, मंगल द्रव्य एवम् तीर्थों की जल रज स्थापित किए गए।