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कभी भी सरयू में समा सकते हैं आधा दर्जन आशियाने

जागरण संवाददाता मधुबन (मऊ) तहसील क्षेत्र के विदटोलिया गांव पर आफत टूट पड़ी है।

By JagranEdited By: Published: Wed, 07 Jul 2021 05:36 PM (IST)Updated: Wed, 07 Jul 2021 08:05 PM (IST)
कभी भी सरयू में समा सकते हैं आधा दर्जन आशियाने
कभी भी सरयू में समा सकते हैं आधा दर्जन आशियाने

जागरण संवाददाता, मधुबन (मऊ) : तहसील क्षेत्र के विदटोलिया गांव पर आफत टूट पड़ी है। सरयू नदी की कटान का दायरा रोज बढ़ता ही जा रहा है। हालत यह है कि नदी लोगों के घरों की चौखट तक पहुंच चुकी है। बीते 24 घंटे में 15 बीघा भूमि काटते हुए नदी दिनेश बिद, लाली बिदू, चंद्रशेखर, राधेश्याम, महेंद्र, हरेंद्र, रामआशीष के घरों को लीलने को आतुर है। लाचार लोग घर के नदी में समाने से पूर्व तिनका-तिनका बटोर रहे हैं। वहीं अपनी मेहनत से बनाए आशियानों को वे खुद तोड़कर ईंट, जंगले व छड़ को बचाने की जद्दोजहद कर रहे हैं।

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ऐसे में आधा दर्जन परिवार बुधवार को अपने घरों को तोड़ते नजर आए क्योंकि सरयू नदी अब भूमि काटते-काटते इनके घरों की चौखट तक पहुंच चुकी है। इनके घर कभी भी नदी में समा सकते हैं। बेहतर है कि सब कुछ नदी में समा जाए उससे पहले जो हो सके उसे बचा लिया जाए। ग्रामीणों के अनुसार पिछले 24 घंटे में ही सरयू नदी अब तक विदटोलिया गांव एवं आसपास के क्षेत्रों की लगभग 15 बीघा से अधिक भूमि लील चुकी है। पिछले 24 घंटों में गांव में लोगों के मकान के आसपास की करीब दो बीघा से अधिक भूमि नदी में विलीन हो चुकी है और अब नदी इन सबके मकान के चौखट की जमीन को नीचे से काट रही है। नदी जिस तेजी से कटान कर रही है उससे विदटोलिया गांव का क्षेत्रफल धीरे-धीरे सिकुड़ता जा रहा है और अब तो कटान से बचने का कोई उपाय भी नहीं है। प्रशासन तो पहले ही हाथ खड़ा कर चुका है। भयभीत लोग रोज ही पलायन कर रहे हैं। उधर, कोई गांव स्थित प्राथमिक विद्यालय में पनाह ले रहा है तो कोई अपने सगे-संबंधी के यहां ठौर तलाशे हुए है। गांव वालों की की सारी उम्मीद टूट चुकी है। कहीं विदटोलिया गांव भी न बन जाए इतिहास

सरयू नदी जिस तेजी से कटान कर रही है उसे देख कर विदटोलिया गांव के वजूद पर संकट रोज गहराता जा रहा है। यहां के लोगों को यह भय सताने लगा है कि कहीं यह गांव भी इतिहास बनकर न रह जाए। नदी आज से लगभग चार साल पहले विदटोलिया गांव से करीब चार किलोमीटर दूर थी, मगर आज काटते-काटते गांव के घरों तक पहुंच चुकी है। इससे पहले केवटिया, पंचपड़वा जैसे कई छोटे-बड़े पुरवे नदी की भेंट चढ़ चुके हैं। इनका वजूद इतिहास के पन्नों में सिमट गया है। आज वही संकट विदटोलिया गांव पर भी आ खड़ा है।

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लोग भयावह की स्थिति में हैं डरे और सहमे : लीलावती कुशवाहा

जागरण संवाददाता (मधुबन):समाजवादी पार्टी की विधान परिषद सदस्य लीलावती कुशवाहा ने बुधवार को धरमपुर विंदटोलिया क्षेत्र का भ्रमण किया। कटान पीड़ित लोगों की दुर्दशा देख सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि आज तक सरकार के लोग गरीबों की सुधि लेने के लिए मौके पर नहीं आए। जोर देकर कहा कि बहुत से पक्के मकान नदी में समा गए फिर भी अधिकारी, कर्मचारी ने इसे देखने की जहमत नहीं उठाई। पूर्वांचल में नदियों का जलस्तर बढ़ रहा है। लोग भयावह की स्थिति में डरे और सहमे हुए हैं । सरकार ने इससे बचने के लिए अभी तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया। वरिष्ठ नेता भीमल कुशवाहा ने कहा कि सरजू नदी की कटान बहुत ही खतरनाक है। प्रशासन अविलंब इसका संज्ञान ले। इस दौरान राम सुधाकर यादव, मीनी मुलायम यादव, देवेंद्र यादव, मीरा यादव , जंग बहादुर मौर्य ,उमेश मौर्य , मुनीब चौहान ,बरकत अली आदि उपस्थित रहे।


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