ताक पर सुरक्षा, संक्रमण को दे रहे बसों में न्योता
बसों में यात्री चालक परिचालक नहीं लगा रहे मास्क
संवाद सहयोगी, मथुरा : क्षमता से अधिक सवारियां, शरीर से शरीर चिपका। किसी के मुंह पर मास्क नहीं। हाथ साफ करने को सैनिटाइजर का भी इंतजाम नहीं। ये तस्वीर रोडवेज बसों की है। यहां कोरोना संक्रमण से बचाव के इंतजाम ताक पर रख दिए गए हैं। बसों में सफर के दौरान संक्रमण को न्योता दिया जा रहा है। सवारियां तो बेखौफ हैं हीं, चालक-परिचालक भी गंभीर नहीं हैं। ये हाल तब है जब कान्हा की नगरी में कोरोना वायरस का संक्रमण तेजी से फैल रहा है।
शुक्रवार को नए बस स्टैंड पर जागरण टीम पहुंची तो आगरा जा रही बस के परिचालक लोकेंद्र कुमार आवाज लगाकर सवारियां बुला रहे थे। उनके चेहरे पर मास्क गायब था। यात्री आते रहे और एक-एक कर बस में चढ़ते रहे। सीटों पर एक-दूसरे से सटकर यात्री बैठे। मास्क न लगाने के सवाल पर लोकेंद्र ने जवाब दिया, हमने यात्रियों से कहना छोड़ दिया है, जिसे डर होगा, वह मास्क लगा लेगा। यहीं से एक दूसरी बस भी आगरा जा रही थी। परिचालक मानसिंह बिना मास्क लगाए यात्रियों का इंतजार कर रहे थे। मास्क न लगाने पर सवाल हुआ, तो बोले जेब में रखा है। ध्यान रहे कि बीते वर्ष कोरोना संक्रमण फैलते ही पहले बसों का संचालन बंद हुआ। जब फिर बसों का संचालन शुरू हुआ तो थर्मल स्कैनर और सैनिटाइजर की व्यवस्था की गई। लेकिन धीरे-धीरे ये व्यवस्था खत्म हो गई। अब तो खुद बसों के चालक और परिचालक लापरवाही बरत रहे हैं। यात्री भी संक्रमण को लेकर बेखौफ हैं। परिवहन निगम के अधिकारी भी केवल कागजों पर ही आदेश दे रहे हैं। एसएस संतोष कुमार का कहना है कि चालक, परिचालकों को मास्क लगाने के आदेश दिए गए हैं। यात्रियों को भी मास्क लगवाने के लिए कहा गया है। लेकिन कुछ यात्री लगाते नहीं हैं। रोज आठ हजार यात्रियों का सफर
परिवहन निगम 119 बसों का संचालन मथुरा से कर रहा है। इसमें 82 बस निगम की हैं और 37 अनुबंधित हैं। इन बसों में प्रतिदिन करीब आठ हजार यात्री सफर कर रहे हैं। ब्रज में होने वाले आयोजनों के दौरान संख्या में और अधिक वृद्धि हो जाती है, ऐसे में कोविड-19 की गाइड लाइन का पालन न करना खतरनाक साबित हो सकता है।