गंगा दशहरा आज, लगेगी आस्था की डुबकी
जागरण संवाददाता, मथुरा: गंगा दशहरा का पर्व शुक्रवार को धार्मिक आस्था के साथ मनाया जाएगा, मगर यमुन
जागरण संवाददाता, मथुरा: गंगा दशहरा का पर्व शुक्रवार को धार्मिक आस्था के साथ मनाया जाएगा, मगर यमुना में गुरुवार की शाम तक अतिरिक्त पानी नहीं छोड़ा जा सका है। ऐसे में भक्तों को कीचड़ जैसे काले पानी में ही डुबकी लगानी होगी। अलबत्ता इस मौके पर भीड़ नियंत्रित करने को प्रशासन ने शहर को तीन जोन में बांटा है। सुबह चार बजे से यमुना के विभिन्न घाटों पर स्नान प्रारंभ हो जाएगा। नगर निगम के कर्मचारी देर सायं तक तैयारियों में जुटे रहे।
गंगा दशहरा पर्व को ध्यान में रखते हुए प्रशासन ने महानगर को तीन जोन में विभक्त किया है। एक-एक जोन में तीन-तीन सेक्टर बनाए गए हैं। संपूर्ण मेला की कमान अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व र¨वद्र कुमार के हाथों में रहेगी। एक नंबर जोन में विश्राम घाट और आसपास के क्षेत्र व घाट रहेंगे। इसके जोनल इंचार्ज सिटी मजिस्ट्रेट बसंत लाल अग्रवाल होंगे। इनके साथ तीन-तीन सेक्टर प्रभारी तैनात रहेंगे।
दूसरा जोन यमुनापार का क्षेत्र रहेगा। इसके जोनल प्रभारी एडीएम प्रशासन को बनाया गया है। उनके सहायक के रूप में एसडीएम महावन सहित अन्य अधिकारी तैनात रहेंगे जबकि तीसरा जोन वृंदावन को बनाया गया है। इसके जोनल प्रभारी एसडीएम सदर को बनाया गया है। इसी तरह शहर को भी तीन जोन और सेक्टरों में बांटा गया है। पुलिस और यातायात के जवान ट्रैफिक व्यवस्था को संभालेंगे। विश्राम घाट की ओर जाने वाले शहर के व्यस्ततम इलाकों में हर ओर से बड़े वाहन प्रतिबंधित रहेंगे।
यह व्यवस्थाएं भी रहेंगी
सिटी मजिस्ट्रेट बसंत लाल अग्रवाल ने बताया कि नगर निगम के स्तर से घाटों पर सफाई, चूना छिड़काव, पीने के लिए पानी, घाटों पर बेरीके¨डग, चें¨जग रूम, खोया-पाया शिविर, उद्घोषणा शिविर आदि की व्यवस्था की जाएगी। जल पुलिस रहेगी मुस्तैद
जल पुलिस भी गंगा दशहरा पर मुस्तैद रहेगी। जवान स्टीमर के सहयोग से घाटों के किनारे निरंतर गश्त करते रहेंगे। उनकी नाव में गोताखोर, ट्यूब आदि की व्यवस्था रहेगी। मेडिकल टीम की तैनाती
विश्राम घाट पर स्नान के दौरान जिला अस्पताल के डाक्टरों की टीम, फार्मासिस्ट, वार्ड ब्वाय, एंबूलेंस, स्ट्रेचर और दवाओं की व्यवस्था रहेगी। भावनाएं होंगी आहत
यमुना में प्रशासन के प्रयास से पानी छोड़ा तो गया है, लेकिन ओखला से यहां तक आते-आते उसकी शुद्धता भी मैली हो गई है। यमुना में इस समय जो पानी है वह इस कदर मैला और कीचड़ युक्त है कि स्नान तो क्या आचमन तक नहीं किया जा सकता है। सिटी मजिस्ट्रेट ने बताया कि ¨सचाई विभाग से समन्वय कर अतिरिक्त पानी छुड़वाने का प्रयास चल रहा है।