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जहां नारियों का सम्मान, वहां देवताओं का वास

राष्ट्रपति बोले विधवा माताओं के लिए समाज को आगे आना होगामाताओं से संवाद कर कहा माता-बहनों का सम्मान करना चाहिए

By JagranEdited By: Published: Tue, 28 Jun 2022 06:02 AM (IST)Updated: Tue, 28 Jun 2022 06:02 AM (IST)
जहां नारियों का सम्मान, वहां देवताओं का वास
जहां नारियों का सम्मान, वहां देवताओं का वास

संवाद सहयोगी, वृंदावन : राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द ने सोमवार को कहा कि मां अनेक कठिनाई सहन कर पुत्रों को काबिल बनाती है। लेकिन कुछ लोग माताओं को अकेले छोड़ देते हैं। शास्त्रों में कहा गया है कि जहां नारियों का सम्मान होता है, वहां देवताओं का वास होता है। हमें माता और बहनों का सम्मान करना चाहिए।

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राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द कृष्णा कुटीर स्थित महिला आश्रय सदन में विधवा और निराश्रित माताओं को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि हमें बाल विवाह, सतीप्रथा और दहेज प्रथा की तरह विधवा जीवन की कुरीति को भी समाज से दूर करना होगा। हमें इसके लिए पूरे समाज का नजरिया बदलने की आवश्यकता है। संतों और समाज सुधारकों और समाज सुधारकों को तिरस्कृत माता और बहनों के जीवन को सुधारने के लिए राजाराम मोहन राय, ईश्वरचंद विद्या सागर और स्वामी दयानंद जैसे प्रयास करने होंगे। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार माताओं को मासिक पेंशन दे रही है। उन्होंने कहा कि मेरा मानना है कि माताओं को समाज की मुख्य धारा से जोड़ने के साथ ही तीज-त्योहार में उनकी भागेदारी बढ़ाई जाए। उन्होंने कहा कि इन माताओं को देश के धार्मिक और पर्यटन स्थल के दर्शन कराए जाएं।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा, आश्रय सदनों में रह रहीं माताओं को किसी भी तरह की दिक्कत नहीं होने दी जाएगी। सदन में रह रहीं माताओं को हर महीने पेंशन, पाकेट मनी मिल रही है, इसमें इजाफा होगा। माताओं की सहूलियत के लिए कृष्णा आश्रय सदन के सुधार को 1.55 करोड़ रुपया अवमुक्त किया गया है। इसके बाद हर प्रकार ही अत्याधुनिक सुविधा माताओं को सदन में मिलेंगी। केंद्र व प्रदेश सरकार माताओं के जीवन को सुगम बनाने के लिए प्रतिबद्ध है। पहली बार किसी राष्ट्रपति ने महिलाओं से संवाद कर उनका दुख दर्द समझा है। ये रूढि़वादी व्यवस्था पर एक प्रहार है। आगे आएं सामाजिक संस्थाएं-राज्यपाल

राष्ट्रपति आनंदी बेन पटेल ने कहा कि ब्रज की भूमि राधा और कृष्ण की लीलाओं की स्थली है। उन्होंने कहा कि जहां भी विधवा व निराश्रित महिलाएं परेशान हों, उन्हें लाकर इस आश्रम में रखना चाहिए। उन्होंने कहा कि कम उम्र में महिलाओं की शादी कर दी जाती है। कम उम्र की विधवाओं को पुनर्विवाह का अधिकार मिलना चाहिए। इस सामाजिक परिवर्तन के लिए सामाजिक संस्थाओं को आगे आना होगा। -10 माताओं को राष्ट्रपति ने बांटे उपहार

कृष्णा कुटीर महिला आश्रय सदन में माताओं से संवाद के दौरान राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द ने सदन की दस माताओं को साड़ी समेत गिफ्टपैक भेंट किए, तो माताएं गदगद हो गईं। माताएं अपने समक्ष राष्ट्रपति को देखकर खुशी से प्रफुल्लित थीं।


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