Move to Jagran APP

चीनी मिल पर 44 करोड़ बकाया, किसान हलकान

किसानों के बकाये गन्ना मूल्य के भुगतान को लेकर गड़ौरा चीनी मिल की परेशानी कम होने का नाम नहीं ले रही है। अभी भी मिल पर 44.25 करोड़ रुपये बकाया है, मगर उसका भुगतान कब तक होगा, इसका जवाब किसी के पास नहीं है।

By JagranEdited By: Published: Thu, 29 Nov 2018 11:24 PM (IST)Updated: Thu, 29 Nov 2018 11:24 PM (IST)
चीनी मिल पर 44 करोड़ बकाया, किसान हलकान
चीनी मिल पर 44 करोड़ बकाया, किसान हलकान

महराजगंज: किसानों के बकाये गन्ना मूल्य के भुगतान को लेकर गड़ौरा चीनी मिल की परेशानी कम होने का नाम नहीं ले रही है। अभी भी मिल पर 44.25 करोड़ रुपये बकाया है, मगर उसका भुगतान कब तक होगा, इसका जवाब किसी के पास नहीं है। बकाये भुगतान में हो रही लेटलतीफी से जहां एक तरफ किसानों के आवश्यक कार्य प्रभावित हो रहे हैं, वहीं उन किसानों का गन्ने की खेती से मोहभंग हो रहा है, जो इसे अपने आर्थिक आय का माध्यम मानते थे। जिम्मेदारों ने यदि समय रहते बकाया मूल्य के भुगतान को लेकर कोई पहल नहीं की तो आने वाले समय में गन्ने की खेती का अस्तित्व भी खतरे में पड़ जाएगा।

loksabha election banner

कृषि प्रधान जिले महराजगंज में दो चीनी मिल संचालित है। गन्ना मूल्य बकाए के भुगतान में शिथिलता को लेकर पहले से चर्चित जेएचवी सुगर मिल गड़ौरा पर किसानों का वित्तीय वर्ष 2014-15 व वित्तीय वर्ष 2017-18 का तथा आईपीएल सिसवा पर किसानों का वित्तीय वर्ष 2017-18 की धनराशि बकाया थी। बकाये के भुगतान को लेकर लंबे समय से किसान मांग भी करते रहे मगर जिम्मेदारों के कान पर जूं तक नहीं रेंगा। जिम्मेदार कभी मिल के घाटे में होने तथा कभी धनराशि उपलब्ध न होने की बात कहकर कन्नी काटते रहे। भुगतान की बदतर स्थिति से इस बार मिले एक करोड़ 30 लाख क्विंटल खरीद के लक्ष्य की पूर्ति करना भी टेढ़ी खीर साबित होगी।

कम्हरिया निवासी गन्ना किसान प्रेमलाल ने कहा कि चीनी मिल द्वारा समय से गन्ना मूल्य का भुगतान न किया जाना निराशाजनक है। समय से भुगतान न होने से कृषि संबंधी कार्य में बाधा उत्पन्न हो रहा है। मुजहना के गन्ना किसान सर्वेश शर्मा ने कहा कि चीनी मिल के होने के ²ष्टिगत उन्होंने गन्ने की खेती की मगर, भुगतान में हो रही देरी ने उन्हें अन्य फसलों की खेती पर मजबूर कर दिया है। शीतलापुर के किसान सत्यनरायन ने कहा कि अपने उपज के मूल्य का उन्हें लंबे समय से इंतजार है, मगर अभी तक वह नहीं मिला। जिम्मेदारों से भी इस बारे में बात की गई लेकिन किसी ने ध्यान नहीं दिया। कम्हरिया के किसान विजय मल्ल ने कहा कि भुगतान की स्थिति को देखते हुए अच्छा यह है कि हम लोग गन्ने की बजाए किसी अन्य फसल की खेती पर ध्यान दें। आइपीएल सिसवा के 24 हजार किसानों के लगभग 89 करोड़ रुपये का गुरुवार को भुगतान कर दिया गया है। जेएचवी गड़ौरा चीनी मिल के किसानों के बकाया गन्ना मूल्य के भुगतान के लिए शासन से धन की मांग की गई है। धन मिलने के बाद भुगतान की कार्यवाही पूरी होगी।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.