UP News: यूजी-पीजी परीक्षा में गड़बड़ी की शिकायत के लिए उच्च शिक्षा विभाग ने जारी किया वाट्सएप नंबर
उच्च शिक्षा विज्ञान व प्रौद्योगिकी मंत्री योगेंद्र उपाध्याय ने विभागीय अधिकारियों के साथ जूम एप के माध्यम से अपने कार्यालय कक्ष से वर्चुअल मीटिंग में कहा कि उच्च शिक्षा की परीक्षाओं की शुचिता व गोपनीयता को बनाए रखा जाए इसके लिए जो भी आवश्यक हो हर संभव कदम उठाए जाएं।
लखनऊ, जेएनएन। विश्वविद्यालय और महाविद्यालयों की परीक्षाओं में अनियमितता की शिकायत परीक्षार्थियों के साथ ही आम लोग भी कर सकेंगे। सरकार ने इसके लिए वाट्सएप नंबर जारी किया है, जिस पर मिलने वाली शिकायतों का तत्काल संज्ञान लेकर कार्रवाई की जाएगी। विश्वविद्यालयीय परीक्षाओं के दौरान परीक्षा केंद्रों पर प्रश्न पत्र परीक्षा शुरू होने से 30 मिनट पूर्व ही पहुंचाया जाएगा। प्रश्नपत्रों व उत्तर पुस्तिकाओं की निगरानी के लिये इनका परिवहन जियो टैगिंग से सुसज्जित वाहनों के माध्यम से किया जाएगा।
उच्च शिक्षा, विज्ञान व प्रौद्योगिकी मंत्री योगेंद्र उपाध्याय ने रविवार को विभागीय अधिकारियों के साथ जूम एप के माध्यम से अपने कार्यालय कक्ष से वर्चुअल मीटिंग में कहा कि उच्च शिक्षा की परीक्षाओं की शुचिता व गोपनीयता को बनाए रखा जाए, इसके लिए जो भी आवश्यक हो, हर संभव कदम उठाए जाएं।
मंत्री योगेंद्र उपाध्याय ने इस दौरान परीक्षा पर अनियमितता होने पर इसकी शिकायत करने के लिए वाट्सएप नंबर 8081572223 जारी किया। उन्होंने विश्वविद्यालय की ओर से आयोजित स्नातक, परास्नातक व अन्य पाठ्यक्रम से संबंधित संचालित हो रही परीक्षाओं की जानकारी ली। यह भी निर्देश दिया कि सभी परीक्षा केंद्रों पर प्रश्न पत्र परीक्षा प्रारंभ होने के 30 मिनट पूर्व ही पहुंचाए जाएं।
मंत्री योगेंद्र उपाध्याय ने परीक्षा केंद्रों की जांच के लिए सचल दल की संख्या में वृद्धि करने के भी निर्देश दिए। उपाध्याय ने कहा कि प्रश्नपत्रों व उत्तर पुस्तिकाओं की निगरानी के लिए इनका परिवहन जियो टैगिंग से सुसज्जित वाहनों के माध्यम से किया जाए। इनके पर्यवेक्षण के लिए नोडल सेंटर पर पर्यवेक्षकों की तैनाती की जाए।
बता दें कि परीक्षा से पहले पेपर लीक होने जैसी खबरें आए दिन आती रहती हैं। इसका सबसे ज्यादा असर उन अभ्यर्थियों पर होता है जो दूर दराज से परीक्षा देने के लिए केंद्र पहुंचते हैं। परीक्षा लीक होने के बाद, परीक्षा रद कर दी जाती है। जितनी देर से परीक्षा होती है, उतनी ही देरी से रिजल्ट जारी किया जाता है। इसी के साथ नियुक्ति प्रक्रिया में देरी होती है। इन सभी परिस्थितियों से बचने के लिए उच्च शिक्षा विभाग यह सारी कवायद कर रहा है।