नियुक्ति की माग को लेकर भाजपा मुख्यालय पर एकजुट हुए शिक्षामित्र, लगाए सरकार विरोधी नारे
0शिक्षामित्रों को पूर्ण शिक्षक का दर्जा देने और आरटीई एक्ट-2009 के
लखनऊ(जागरण संवाददाता)। शिक्षामित्रों को पूर्ण शिक्षक का दर्जा देने और आरटीई एक्ट-2009 के विधिक पहलू पर शिक्षामित्रों के पक्ष में पैरवी करने समेत कई मांगो को लेकर रविवार को शिक्षामित्रों ने भजपा मुख्यालय के सामने धरना दिया। आम शिक्षक शिक्षा मित्र एसोसिएशन की की अध्यक्ष उमादेवी के नेतृत्व में हुए धरने के उपरांत एसोसिएशन की ओर से भाजपा प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र नाथ पांडेय के माध्यम से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को ज्ञापन भी प्रेषित किया।
उमा देवी ने कहा कि इको गार्डन में महिलाओं ने अपने सबसे प्रिय श्रृंगार बाल को मुड़वा दिया, इसके बावजूद सरकार की कुंभकरणी नींद नहीं टूट रही है। भाजपा के मंत्री, विधायक और सांसद से लेकर वरिष्ठ कार्यकर्ताओं से मिलकर गुहार लगाई गई, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो रही है। समय रहते सरकार ने ध्यान नहीं दिया तो शिक्षामित्र देशव्यापी आंदोलन करने को मजबूर होंगे। संतोष दुबे व रवींद्र सिंह समेत कई शिक्षामित्र शामिल हुए। 18 मई से शुरू है विरोध:
इको गार्डन में शिक्षामित्र 18 मई से लगातार धरना प्रदर्शन कर रहे हैं। एक महीने की भूखहड़ताल के बावजूद सरकार की कान पर जूं तक नहीं रेंगी। 26 जून को 101 ब्राह्माण शिक्षामित्रों ने अपना जनेऊ त्याग दिया तो 25 जुलाई को 63 महिलाओं समेत 450 शिक्षामित्रों ने सामूहिक मुंडन संस्कार करा कर विरोध दर्ज कराया। इसके बावजूद सरकार उन्हें समायोजित करने पर विचार नहीं कर रही है। लखनऊ(जागरण संवाददाता)। शिक्षामित्रों को पूर्ण शिक्षक का दर्जा देने और आरटीई एक्ट-2009 के विधिक पहलू पर शिक्षामित्रों के पक्ष में पैरवी करने समेत कई मांगो को लेकर रविवार को शिक्षामित्रों ने भजपा मुख्यालय के सामने धरना दिया। आम शिक्षक शिक्षा मित्र एसोसिएशन की की अध्यक्ष उमादेवी के नेतृत्व में हुए धरने के उपरांत एसोसिएशन की ओर से भाजपा प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र नाथ पांडेय के माध्यम से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को ज्ञापन भी प्रेषित किया।
उमा देवी ने कहा कि इको गार्डन में महिलाओं ने अपने सबसे प्रिय श्रृंगार बाल को मुड़वा दिया, इसके बावजूद सरकार की कुंभकरणी नींद नहीं टूट रही है। भाजपा के मंत्री, विधायक और सांसद से लेकर वरिष्ठ कार्यकर्ताओं से मिलकर गुहार लगाई गई, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो रही है। समय रहते सरकार ने ध्यान नहीं दिया तो शिक्षामित्र देशव्यापी आंदोलन करने को मजबूर होंगे। संतोष दुबे व रवींद्र सिंह समेत कई शिक्षामित्र शामिल हुए। 18 मई से शुरू है विरोध:
इको गार्डन में शिक्षामित्र 18 मई से लगातार धरना प्रदर्शन कर रहे हैं। एक महीने की भूखहड़ताल के बावजूद सरकार की कान पर जूं तक नहीं रेंगी। 26 जून को 101 ब्राह्माण शिक्षामित्रों ने अपना जनेऊ त्याग दिया तो 25 जुलाई को 63 महिलाओं समेत 450 शिक्षामित्रों ने सामूहिक मुंडन संस्कार करा कर विरोध दर्ज कराया। इसके बावजूद सरकार उन्हें समायोजित करने पर विचार नहीं कर रही है।