लखनऊ नगर निगम का पुनरीक्षित बजट कल, 245 करोड़ बकाया होने से नये तोहफे की उम्मीद नहीं
लखनऊ में देर से आ रहे नगर निगम के पुनरीक्षित बजट (2021-22) में कुछ नया नहीं होगा। मूल बजट को ही पुनरीक्षित बजट की शक्ल दी गई है। पुनरीक्षित बजट महापौर की अध्यक्षता वाली नगर निगम कार्यकारिणी समिति के समक्ष कल 29 दिसंबर को पेश होगा।
लखनऊ, जागरण संवाददाता। लखनऊ में देर से आ रहे नगर निगम के पुनरीक्षित बजट (2021-22) में कुछ नया नहीं होगा। मूल बजट को ही पुनरीक्षित बजट की शक्ल दी गई है। पुनरीक्षित बजट महापौर की अध्यक्षता वाली नगर निगम कार्यकारिणी समिति के समक्ष कल 29 दिसंबर को पेश होगा। शहर के विकास से जुड़े किसी मद में बजट को नहीं बढ़ाया गया है। कई मदों में सितंबर 2021 तक कोई खर्च भी नहीं दिखाया गया है।
पुनरीक्षित बजट में नगर निगम की देनदारी को 245 करोड़ दिखाया गया है, जबकि मूल बजट में सड़क की मरम्मत व अन्य निर्माण कार्यों की देनदारी 259 करोड़ दिखाई गई थी। ऐसे में देनदारी से जूझ रहे नगर निगम से चालू वित्तीय वर्ष में किसी नए काम भी उम्मीद नहीं की जा सकती है। पुनरीक्षित बजट में भवन कर समेत अन्य आय के किसी मद में भी कोई वृद्धि नहीं की गई है।
ऐसे में पुनरीक्षित बजट से नए विकास की उम्मीद देखने वालों को निराशा ही हाथ लगेगी। विधानसभा का चुनावी वर्ष और अगले वर्ष होने वाले महापौर और पार्षदों के चुनाव में नगर निगम का बजट जनता को लुभाने जैसा नहीं है। अब देखना है कि कार्यकारिणी समिति की बैठक में पुनरीक्षित बजट में किस तरह का बदलाव होता है।
29 को कार्यकारिणी समिति के समक्ष पेश होगा बजटः 29 दिसंबर को सुबह सवा ग्यारह बजे नगर निगम का पुनरीक्षित बजट (2021-22) नगर निगम कार्यकारिणी समिति के समक्ष पेश होगा। महापौर की अध्यक्षता वाली समिति में पार्षदों के बीच से निर्वाचित बारह सदस्यीय कार्यकारिणी समिति के सदस्यों के अलावा नगर निगम के अधिकारी भी होते हैं। कार्यकारिणी समिति से मंजूरी मिलने के बाद बजट को नगर निगम के सदन में मंजूरी के लिए लाया जाएगा।
इन पर खर्च होगाः
मूल बजट (एक अप्रैल सेे तीस सितंबर 2021 तक खर्च)
सड़कों की मरम्मत व नवीनीकरण पर 160 करोड़ ( 300.78 लाख खर्च)
सड़कों का नया निर्माण पांच करोड़ (2.96 करोड़ खर्च)
सार्वजनिक नाला निर्माण और मरम्मत एक करोड़ (कोई रकम खर्च नहीं)
सफाई ठेका 140 करोड़ (61.38 करोड़ खर्च हो चुका है)
स्ट्रीट लाइटों के अनुरक्षण पर 21 करोड़ ( मूल बजट से अभी तक कोई खर्च नहीं हो सकी रकम)
शहरी निर्धनों की बस्तियों के विकास पर दस लाख (86 हजार खर्च हो चुका है)
श्मशानघाट और कब्रिस्तानों की मरम्मत तीस लाख ( कोई रकम खर्च नहीं हुई)
नालों की सफाई पांच करोड़ ( मूल बजट से 58.43 लाख खर्च हो चुका है)
बाढ़ पम्पिंग स्टेशनों के अनुरक्षण और संचालन पर चार सौ करोड़ ( 7.82 लाख खर्च)
नगरीय ठोस अपशिष्ट प्रबंधन पर 36 करोड़ ( 19.84 करोड़ खर्च)
मूत्रालय और शौचालय की मरम्मत दस लाख (कोई खर्च नहीं)
कूड़ाघरों के नए निर्माण पर दो करोड़ ( 63.32 लाख खर्च)
पेट्रोल डीजल पर 47 करोड़ ( मूल बजट में 45 करोड़ का प्रावधान था, 18.96 करोड़ खर्च हो चुका है)
अस्थाई मार्ग प्रकाश एक करोड़ (55.82 लाख खर्च)
कल्याण मंडपों के निर्माण पर 150 लाख (खर्च 38.01 लाख)
पार्कों की दीवार का निर्माण, मरम्मत व रंगाई पुताई, कम्पोस्ट पिट का निर्माण दो करोड़ (कोई रकम खर्च नहीं)
नगर निगम के स्कूलों के भवनों की मरम्मत चार करोड़ (कोई खर्च नहीं)