ट्रैवेल एजेंसी संचालक मर्डर: स्वास्थ्य भवन के समाने शव रख वकीलों ने किया प्रदर्शन, बेल्चा-बाके से की गई थी हत्या
ट्रैवेल संचालक अशोक पाठक की सोमवार रात बेल्चा व बाके से काटकर की गई थी हत्या। जमीन संबंधी पुराने विवाद में हमलावरों ने दिया घटना को अंजाम।
लखनऊ(जेएनएन)। राजधानी में बीती रात ट्रैवेल संचालक अशोक पाठक की हत्या के बाद मंगलवार को मृतक के वकील भाई ने जमकर हंगामा किया। स्वास्थ भवन चौराहे पर भाई का शव रखकर अपने वकील साथियों के साथ आरोपितों की तत्काल गिरफ्तारी और मृतक के परिवार को 20 लाख रुपए मुआवजा दिया जाए। उधर, विधानसभा की ओर आगे बढ़ने लगे तो पुलिस उन्हें रोकने का प्रयास करने में जुटी रही।
गौरतलब हो कि पारा के शिवपुरी पिताम्बरखेड़ा में सोमवार रात ट्रेवेल संचालक अशोक पाठक (43) की बेल्चा व बाके से काटकर हत्या कर दी गई। बेखौफ हमलावरों ने वारदात को जमीन संबंधी पुराने विवाद की रंजिश में अंजाम दिया है। घटना से आक्रोशित मृतक के वकील भाई अरुण पाठक ने साथी वकीलों के साथ मिलकर घटनास्थल पर व आरएलबी अस्पताल में जमकर हंगामा किया था। साथ ही पारा पुलिस पर भी लापरवाही का आरोप लगाया। अशोक पाठक एयरपोर्ट के पास ट्रेवल एजेंसी चलाते हैं।
क्या कहना था पुलिस का?
इंस्पेक्टर पारा अखिलेश कुमार पाडेय के मुताबिक, अरुण पाठक की तहरीर पर हत्यारोपित पड़ोसी श्रीपाल उसकी पत्नी मीना व तीन बेटों, दो बेटियों व ड्राइवर के खिलाफ हत्या की रिपोर्ट दर्ज हुई है। दंपती को गिरफ्तार कर लिया गया है, अन्य की तलाश की जा रही है। ऐसे अंजाम दी वारदात:
पुलिस के मुताबिक, अरुण पाठक की ओर से दी गई तहरीर में कहा गया है कि उनके भाई अशोक शाम सात बजे ट्रेवेल एजेंसी से घर की ओर आ रहे थे, तभी पड़ोसी श्रीपाल यादव ने पत्नी मीना, बेटे शिवकुमार, संतोष, रंजीत, बेटी विजयलक्ष्मी, आराधना व ड्राइवर लालू के साथ मिलकर अशोक पर बाके और बेल्चे से हमला कर दिया। शरीर के कई स्थानों पर धारदार हथियार से वार के दौरान अत्यधिक रक्तस्त्राव हो जाने से अशोक की मौके पर ही मौत हो गई। घटना के बाद हमलावर भाग निकले, लेकिन पुलिस ने दंपती को दबोच लिया। अशोक के घरवाले उसे रानी लक्ष्मी बाई (आरएलबी) अस्पताल भी ले गए थे, लेकिन डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया।
पूरे परिवार को मारने की थी तैयारी: सूचना पर घटनास्थल पर पहुंचे सेंट्रल बार के पूर्व महामंत्री अखिलेश जायसवाल का कहना था कि श्रीपाल अशोक समेत उनके पूरे परिवार की हत्या की योजना बनाए था, लेकिन तब तक अशोक उधर से अकेला ही निकल पड़ा और उसकी हत्या कर दी गई।