Move to Jagran APP

Grocery Price in UP: चना, छोला, चावल व खाद्य तेल की कीमतों में इजाफा, अरहर दाल हुई स्थिर

यूपी में सौ रुपये किग्रा का आंकड़ा पार कर चुकी अरहर दालों की कीमतें अब स्थिर होने लगी हैं। 92 से 98 तक फुटकर में अरहर दाल बिक रही है। लेकिन सरसों के तेल निरंतर उबल रहा है। इसका भाव फिर से रफ्तार भर रहा है।

By Rafiya NazEdited By: Published: Tue, 17 Aug 2021 04:39 PM (IST)Updated: Tue, 17 Aug 2021 07:55 PM (IST)
Grocery Price in UP: चना, छोला, चावल व खाद्य तेल की कीमतों में इजाफा, अरहर दाल हुई स्थिर
यूपी में चना, छोले चावल व तेल की कीमतों में आया उछाल।

लखनऊ, जागरण संवाददाता। सौ रुपये किग्रा का आंकड़ा पार कर चुकी अरहर दालों की कीमतें अब स्थिर होने लगी हैं। 92 से 98 तक फुटकर में अरहर दाल बिक रही है। लेकिन सरसों के तेल निरंतर उबल रहा है। इसका भाव फिर से रफ्तार भर रहा है। सरसों की फसल कम होने की वजह से डिमांड ज्यादा और आपूर्ति कम के चलते तेल 170 रुपये लीटर पहुंच गया है। तो रिफाइंड ऑयल भी ज्यादा पीछे नहीं है। यह भी 160 से 165 रुपये लीटर बिक रहा है। रिफाइंइ ऑयल में तेजी के पीछेअमेरिका में होने वाली सोयाबीन ऑयल की उपलब्धता न हो पाने के कारण कीमतों में इजाफा हुआ है। इसके अलावा कई अन्य खाद्यान्नों में भी तेजी दर्ज की गई है। इनमें 95 रुपये वाला छोला 100 रुपये प्रति किग्रा. और चना दाल 70 का आंकड़ा पार कर गई है। यही नहीं चावल में भी दो से तीन रुपये किग्रा. की तेजी दर्ज की गई है। वह भी तब जब अभी त्योहारी सीजन पूरी तरह से शुरू नहीं हुआ है।

loksabha election banner

फुटकर मंडी

खाद्य तेल-कीमत रुपये प्रति लीटर- जुलाई -अगस्त

रिफाइंड ऑयल-153 से 155 -160 से 165

बैल कोल्हू-160 से 165 -165 से 170

जींस-कीमत रुपये प्रति किग्रा.- जुलाई- अगस्त

अरहर दाल -92 से 98 -92 से 98

छोला -96 -100

चना दाल -85 - 70

चावल सांबा मंसूरी -24 -27

चावल सोना मंसूरी -30 -34

शकर चीनी-38 -42

रकाबगंज सिटी स्टेशन मंडी फुटकर कारोबारी ने बताया कि लंबे समय से महंगी चल रही अरहर दाल की सभी कैटेगरी के भाव में अब स्थिरता बनी हुई है। हां दोनों खाद्य तेलों के दाम में निरंतर उतार-चढ़ाव बना हुआ है। सरसों का तेल और रिफाइंड ऑयल महंगा है। सरसों की फसल कम होने से किसान भी सरसों को दबा रहे हैं। इससे मांग के अनुरूप आपूर्ति कम बनी हुई है। उतार-चढ़ाव का यही कारण है।

फतेहगंज थोक कारोबारी संजय सिंघल ने बताया कि विपुल अग्रवाल ने बताया कि अमेरिका से सोयाबीन न आ पाने के कारण रिफाइंड ऑयल की उपलब्धता कम है। यही हाल सरसों की फसल कम हाेने और तेल की खपत ज्यादा होने से तेजी बरकरार है। इसी के चलते खाद्य तेल बार-बार महंगे हो रहे हैं।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.